Book Title: Rajkukmar Shrenik Diwakar Chitrakatha 016
Author(s): Devebhdra Muni, Shreechand Surana
Publisher: Diwakar Prakashan

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Page 11
________________ प्रसेनजित ने सभी राजकुमारों को बुलाकर पूछा भोजन कर लिया ? Angootoos wwwwww DOG महाराज ! हम भोजन कैसे करते ? शिकारी कुत्ते जो आ गये ! परन्तु बड़े राजकुमार श्रेणिक तो बडे ढीठ हैं.. जो कुत्तों के साथ ही भोजन करते गये। Jain Education International राजकुमार श्रेणिक प्रसेनजित ने प्रसन्नता छुपाते हुए श्रेणिक को डाँटा खलदर श्रेणिक ! आपने सचमुच कुत्तों के साथ भोजन कर राजकुल की मर्यादा घटाई है .... अगले दिन राजा प्रसेनजित ने सभी राजकुमारों को बुलाकर कहा 20 देखो, ये मिट्टी के कोरे घड़े हैं, सभी एक-एक घड़ा ले जाओ और इसमें ओस 'का पानी भरकर लाओ। श्रेणिक मन ही मन बहुत दुखी हुआ। राजकुमार एक-दूसरे का मुँह ताकने लगे यह कैसा विचित्र आदेश है ? क्या ओस की बूँदों से कभी घड़ा भर सकता है ? परन्तु राजा के सामने किसी की बोलने की हिम्मत नहीं हुई। For Private & Personal Use Only www.jalnelibrary. ry.org

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