Book Title: Jain Satyaprakash 1939 09 SrNo 50 Author(s): Jaindharm Satyaprakash Samiti - Ahmedabad Publisher: Jaindharm Satyaprakash Samiti Ahmedabad View full book textPage 3
________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra www.kobatirth.org શ્રી જૈન સત્ય પ્રકાશ वर्ष प ..............................................................................................................................................................................................................................⠀⠀⠀⠀⠀⠀⠀⠀⠀⠀⠀ ક્રમાંક ૪૯ Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir पूर्वाचार्यप्रणीता चतुर्विंशतिजिनस्तुति : संग्राहक श्रीयुत मणिलाल केशरीचंद शाह ( १ ) श्री आदिनाथमजितं प्रभुसंभव च । वंदेऽभिनंदनजिनं सुमतिं जिनेशम् ॥ पद्मप्रभं प्रभुसुपार्श्वशशिप्रभौ च । श्रीपुष्पदंतमथ शीतलनामधेयम् ||१|| ( २ ) श्रेयांसमानततनुं प्रभुवासुपूज्यं । वंदे जिनं विमलनाथमनंतधर्मौ ॥ श्रीशांतिकुंथू अरमल्लोजिनाधिनाथौ । श्रीसुव्रतं नमिजिने द्रमरिष्टनेमिम् ||२|| (३) श्री पार्श्वनाथ जिननायकवर्द्धमानौ । तीर्थश्वरानहमिमान प्रणमामि नित्यम् ॥ ते जिना ददतु मे स्मरणात् त्रिसन्ध्यम् । दुपसर्ग हरणानि सुमंगलानि ||३|| For Private And Personal Use Only અંક ૧Page Navigation
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