________________
परिशिष्ट - २ ]
सं०
यक्ष
(ख) दि०
२३ () पारखं दवे ०
-
(ii) धरण - दि०
२४ मातंग (क) वे० (ख) दि०
Jain Education International
वाहन
पुष्प
( या नर)
कूर्म
कूर्मं
गज
गज
भुजा-सं०
छह
चार
चार
या छह
to to
|
आयुध
मुद्गर ( या दुषण), परशु दण्ड त्रिमुख फल, वज्र, वरदमुद्रा । प्रतिष्ठातिलकम् में द्रुघण के स्थान पर धन के प्रदर्शन का निर्देश है।
मातुलिंग, उरग ( या गदा), नकुल,
उरग
नागपाश, सर्प, सर्प, वरदमुद्रा । धनुष, बाण, भृण्डि, मुद्गर, फल,
वरदमुद्रा (अपराजित पुच्छा)
नकुल, बीजपूरक वरदमुद्रा मातुलिंग
C
For Private & Personal Use Only
अन्य लक्षण
२५९
गजमुख, सर्पफणों के छत्र
से युक्त
सर्पफणों के छत्र से युक्त
मस्तक पर धर्मचक्र
www.jainelibrary.org