Book Title: Jain Dharm
Author(s): Kailashchandra Shastri
Publisher: Bharatiya Digambar Sangh
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१३
कुन्दकुन्द
२६६
२६७
समद
३०१
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२७०
३११
३१२
२६५ । ३. सम्प्रदाय और पन्थ २९९ उमास्वामी
[१ दिगम्बर सम्प्रदाय २९९ समन्तभद्र
२६६ दिगम्बर सम्प्रदायमें सिद्धसेन
संघभेद देवनन्दि
२६७ मूल संघके गण गच्छ पात्रकेसरी
एवं अन्वय ३०४
३०५ अकलंक
काष्ठा संघ
तेरह पन्थ और वीसपन्थ ३०७ विद्यानन्द माणिक्यनन्दि
तारणपन्थ
३०८
[ २ श्वेताम्बर सम्प्रदाय ३०६ अनन्तवीर्य
२६६ वीरसेन
श्वेताम्बर चैत्यवासी जिनसेन
मूर्तिपूजक श्वेताम्बरोंके २७०
गच्छ प्रभाचन्द्र
२७१ स्थानकवासी
३१४ वादिराज
२७१
मूर्तिपूजा-विरोधी नियुक्तिकार भद्रबाहु २७२
तेरापन्थ मल्लवादी
२७२
यापनीय संघ ३१७ जिनभद्र गणि
कूर्चक संघ
३१८ हरिभद्र
अर्द्धस्फालक सम्प्रदाय ३१६ अभयदेव
२७३ हेमचन्द्र
७. विविध ३२१-३८१ यशोविजय
१. कुछ जैनवीर ३२१ ५. जैनकला और
राजा चेटक
३२२ पुरातत्व २७४-२८४
, उदयन
सम्राट चन्द्रगुप्त चित्रकला
२७४ खारवेल
३२२ मूर्तिकला
कुमारपाल
३२३ स्थापत्यकला २७८
मारसिंह ६.सामाजिकरूप २८५-३२०
चामुण्डराय १. जैन संघ
गंगराज
३२४ २. संघ भेद
२८९ कलचूरि राजा
२७२ २७२
२७६
२७३
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३२२
३२२
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२७७
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३२३
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३२३
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२८५
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