Book Title: Shravak Ke Barah Vrat
Author(s): Mangla Choradiya
Publisher: Samyaggyan Pracharak Mandal

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Page 44
________________ कर्मादान कर्मादान 1. इंगालकम्मे - कोयले बनाने, काँच बनाने चूना, ईंट बनाना आदि । 2. वणकम्मे - (वनकर्म) वन के वृक्ष आदि काटने का व्यापार करना। 3. साडीकम्मे - ताँगा, मोटर इत्यादि बनाकर बेचने का व्यापार 4. भाड़ीकम्मे - ऊँट, घोड़ा तथा मोटरगाड़ी, कार, टैक्सी आदि को किराये पर देकर आजीविका कमाना । 5. फोडीकम्मे-जमीन के पेट फोड़ने का व्यापार, खनिज पदार्थ निकालना, कुआ बावड़ी आदि खुदवाना, हैण्डपम्प, नलकूप आदि लगाने का व्यापार करना । 6. दंतवाणिज्जे - हाथीदाँत, शंख, हड्डी, आदि का व्यापार । 7. लक्खवाणिज्जे-लाख का व्यापार करना । 39 त्याग/आगार सभी प्रकार की भट्टियाँ बनाकर आजीविका करने का त्याग(शादी ब्याह में आगार) उक्त व्यापार का त्याग। (घर के घास काटने आदि का आगार) उक्त व्यापार का त्याग। इस व्यापार का त्याग (घर किराए पर देने का आगार) इस व्यापार का त्याग (खेत घर में अनुकंपावश अन्य स्थान पर कुआ खुदवाने, बोरिंग करवाने का आगार) । इस व्यापार का पूर्ण त्याग। इस व्यापार का पूर्ण त्याग।

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