Book Title: Bandh Vihanam Tattha Pasatthi Author(s): Veershekharvijay Publisher: Bharatiya Prachya Tattva Prakashan Samiti View full book textPage 6
________________ प्रकाशकीय निवेदन ܀܀܀܀܀܀܀܀܀܀܀܀܀܀ अमने जणावतां अत्यन्त हर्ष थाय छे के अमारी समिति द्वारा बहु टुंक समयमा आज सुधीमा कर्मसाहित्यनां ११ ग्रन्थरत्नो बहार पडी गयां छे. अने बीजा पण ग्रन्थो तैयार थइ रह्या छे. ते सिवाय प्राचीनकर्मसाहित्यना ग्रन्थो पण अमारी संस्थाए मुद्रण करावीने प्रगट करेल छे. एनुपण आगल कार्य चालु छे. आ कार्यना स्तम्भभूत प० पू० स्वर्गीय गुरुदेवश्री आचार्य भगवंत धीमद् विजयप्रेमसूरीश्वर म सानः अमारा उपर असीम उपकार छ । तेनो अमे कोई रीते बदलो वाली शकीए तेम नथी. तेओश्रीनो अमे कोटिशः वंदन साथे आभार मानीए छीए. मुनिश्री वीरशेखरविजयजी म. साहेब जेमने एकली मूल गाथाओ ज जोवी होय तेने अनुकूलता रहे ए लक्षमा राखीने मूल. गाथाओनुप्रथम परिशिष्ट बनाव्यु छे. अवसरे अभ्यासीमोने मोटु पुस्तक जोवु न पडे अने नानी पुस्तिकाथी काम चाली शके ए हेतुथी ए प्रथम परिशिष्टनी नानी पुस्तिका बनावी मा अलग प्रकाशन करवामां आवी छे. जो प्राकृतना अभ्यासीओ आ नाना ग्रन्थने वांचशे तो प्राकृत भाषाना बोध साथे टुकमां महापुरुषोना इतिहासनो पण सुंदर बोध थशे एम अमारु मानवु छे. आथी आना संपादक पू० मु० श्री बीरशेखरविजयजी म० सा० ना पण अमे ऋणी छीए.Page Navigation
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