Book Title: Sramana 2014 07 10
Author(s): Ashokkumar Singh, Rahulkumar Singh, Omprakash Singh
Publisher: Parshvanath Vidhyashram Varanasi
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42 : श्रमण, वर्ष 65, अंक 3-4 / जुलाई - दिसम्बर 2014
काव्यादर्श, 1–32
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(क) काव्यप्रकाश, द्वितीयोल्लास, उदा. सं. 6,7,8, (ख) गाथासप्तशती, गा., 389, 640, 1-4
(क) काव्यप्रकाश, तृतीयोल्लास, उदा. सं. 13,14,16,18,19,21 (ख) गाथासप्तशती, गा., 989, 956, 939, 875,162, 851
(क) गाथासप्तशती, गा., 879,970
(ख) काव्यप्रकाश, चतुर्थोल्लास, उदा. सं. 58,60
(क) गाथासप्तशती, 979
(ख) काव्यप्रकाश, 4, उदा. सं. 65
(क) गाथासप्तशती, 934
(ख) काव्यप्रकाश, 4, उदा. सं. 66 (क) गाथासप्तशती, 982
(ख) काव्यप्रकाश, 4, उदा. सं. 67 (क) कर्पूरमंजरी, 1-19,
(ख) काव्यप्रकाश, 4, उदा. सं. 68 (क) गाथासप्तशती, 936,
(ख) काव्यप्रकाश, 4, उदा. सं. 69 (क) गाथासप्तशती, 971
(ख) काव्यप्रकाश, 4, उदा. सं. 70 (क) गाथासप्तशती, 2-82, (ख) काव्यप्रकाश, 4, उदा. सं. 71 (क) गाथासप्तशती, 978, (ख) काव्यप्रकाश, 4, उदा. सं. 74 (क) गाथासप्तशती, 5-53,
(ख) काव्यप्रकाश, 4, उदा. सं. 97 (क) गाथासप्तशती, 705, (ख) काव्यप्रकाश, 4, उदा. सं. 101 (क) गाथासप्तशती, 940,
(ख) काव्यप्रकाश, 4, उदा. सं. 102 (क) गाथासप्तशती, 876,
(ख) काव्यप्रकाश, 5, उदा. सं. 132 (क) गाथासप्तशती, 886
(ख) काव्यप्रकाश, 5, उदा. सं. 135 काव्यप्रकाश, 5, उदा. सं. 136
(क) गाथासप्तशती, 2-75,
(ख) काव्यप्रकाश, 5, उदा. सं. 138 काव्यप्रकाश, 7, उदा. सं. 217

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