Book Title: Prakarantrai
Author(s): Mahabodhivijay
Publisher: Jinshasan Aradhana Trust
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________________ [63] नवतत्व वृ. [टीकाकृत्प्रशस्तिः ] संवत् वसुगजरसशशि (1688) समिते च दुर्भिक्षकातिकेमासे / अमदावादे नगरे पटेलहाजाभिधप्रोल्यां // 1 // वृद्धोपाश्रयमध्ये चान्द्र कुले वृद्ध खरतरे गच्छे / श्रीजिनसागरसूरेविजयिनि राज्ये सुसाम्राज्ये // 2 // नवतत्त्वसूत्रवृत्तिर्विहिता श्रीसमयसुन्दरैः सुगमा / मुनिसहजविमलपंडितमेघविजयनामशिष्यकृते // 3 // वृत्तिं लिखित्वा मात्सर्यात् प्रशस्तिं न लिखिष्यति / जिनाज्ञालोपकृत् पापी नरके स पतिष्यति // 4 // इति श्रीसमयसुन्दरोपाध्यायकृतं नवतत्वशब्दार्थव्याख्यानं ... सम्पूर्णम् / /
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