Book Title: Kortaji Tirth ka Itihas Sachitra Author(s): Yatindravijay Publisher: Sankalchand Kisnaji View full book textPage 3
________________ विषय-निदर्शनम् -503० प्रागोद्गार ० कोरटा जिन मन्दिरों के ब्लोक १-१६ • लघुतीर्थवन्दना १ मारवाड देश की उत्कर्षता १-१० २ कोरंटनगर की प्राचीनता १०-१७ ३ प्राचीन वीरप्रतिमा-परिवर्तन १७-२० ४ विकलाङ्ग मूर्ति के लिये शास्त्राज्ञा २०-२३ ५ नवीन वीरप्रतिमा २३-२६ ६ कोरटा की पूर्व जाहोजलाली २६-३२ ७ कोरंटगच्छ की उत्पत्ति ३२-३५ ८ एक तांबापत्र का पत्ता ३५-३८ ९ इतर दो प्राचीन जिनमन्दिर ३८-४१ १० कोरटा में अन्यमत के स्थान ४१-४७ ११ प्राचीन जिनप्रतिमा प्रगट हुई ४७-४६ १२ नया मन्दिर और प्रतिष्ठा ५०-५८ १३ राज्यपरिवर्तन ५६-६१ १४ कोरटा की वर्तमान अवस्था ६२-६६ १५ कोरटाजी तीर्थ के मेले ६७-७० १६ मेला नेतरनेवालों की यादी १७ रत्नप्रभसूरि-परिचय (परिशिष्ट) ७४-६७ १८ दो मन्दिरों की प्रशस्ति (,,) 6८-१०० १६ कोरटामंडनस्तवनानि (,) १०१-११२ Shree Sudharmaswami Gyanbhandar-Umara, Surat www.umaragyanbhandar.comPage Navigation
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