Book Title: Agam 16 Upang 05 Surya Pragnapti Sutra Part 01 Sthanakvasi
Author(s): Ghasilal Maharaj
Publisher: A B Shwetambar Sthanakwasi Jain Shastroddhar Samiti

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Page 1023
________________ सूर्यज्ञप्तिप्रकाशिका टीका सू० ४६ दशमप्राभृतस्य द्वादशं प्राभृतप्राभृतम् १०११ सोमनामाचन्द्रः तावत् मृगशिरा नक्षत्रस्य स्वामी प्रोच्यते । 'ता अदा गक्खते किं देवयाए पण्णत्ते !" तावत् आर्द्रा नक्षत्रं किं देवताकं प्रज्ञप्तमिति गौतमोक्तिस्ततो भगवानाह - 'ता अद्दा णक्खत्ते रुद्ददेवयाए पण्णत्ते' तावत् आर्द्रा नक्षत्रं रुद्रदेवताकं प्रज्ञतम् । आर्द्रा नक्षत्रस्य खलु देवता तात् रुद्रनामा शंकरः प्रोच्यते । 'ता पुणव्वसू णक्खते किं देवयाए पण्णत्ते !" तावत् पुनर्वसु नक्षत्रं किं देवताकं प्रज्ञप्तमिति गौतमोक्तिं श्रुत्वा भगवान् कथयति - 'ता पुणव्वसु क्ख अदि देवया पण्णत्ते' तावत् पुनर्वसु नक्षत्रम् अदितिदेवताकं प्रज्ञप्तम् । अदितिनामिका काचित् देवमाता पुनर्वसु नक्षत्रस्य देवता - अधिष्ठात्री प्रतिपादिता वर्त्तते तावत् 'ता पुरुसो णक्खत्ते किं देवयाए पण्णत्ते' तावत् पुष्यनक्षत्रं किं देवताकं प्रज्ञप्तमिति गौतमस्य प्रश्नस्ततो भगवानाह - ' ता पुस्सी णक्खते बहस्सइ देवयाए पण्णत्ते' तावत् पुष्यनक्षत्रं बृहस्पतिदेवताकं प्रज्ञप्तम् । तावदिति पूर्ववत् पुष्यनक्षत्रं बृहस्पतिदेवताकं प्रज्ञप्तं - बृहस्पतिः खलु पुष्यनक्षत्रस्य देवता तावत् प्रतिपाद्यते । 'ता अस्सेसा णक्खत्ते किं देवयाए पण्णत्ते' देव मृगशिरा नक्षत्र का अधिपति कहा है, सोमदेवता चंद्रको कहते हैं, श्री गौतमस्वामी - ( ता अद्दाणक्खत्ते किं देवयाए पण्णत्ते) आर्द्रा नक्षत्र का अधिपति कौनसा देव कहा है ? श्री भगवान् - ( ता अद्दाणक्खत्ते रुद्ददेवयाए पण्णत्ते) आर्द्रा नक्षत्र का अधिपति रुद्रदेवता कहा हैं, रुद्र नाम शंकर का होता है, श्री गौतमस्वामी - (ता पुणच्वसू णक्खत्ते किं देवयाए पण्णत्ते) पुनर्वसु नक्षत्र का अधिपति कौन देव होता है ? श्री भगवान् - ( ता पुणन्वसू णक्खत्ते अदिइ देवा पण्णत्ते) पुनर्वसु नक्षत्रकी अधिष्ठात्री आदिति नामकी देवी कही गई है, श्री गौतमस्वामी - (पुस्सो णक्खत्ते किं देवयाए पण्णत्ते) पुष्य नक्षत्र का अधिपति देव का नाम क्या है ? श्री भगवान् - ( ता पुरसो णक्खत्ते बहस्सइ देवयाए पण्णत्ते) पुष्यनक्षत्र का अधिपति बृहस्पति होता है, श्री गौतमस्वामी(ता अस्सा णक्खत्ते किं देवयाए पण्णत्ते) अश्लेषा नक्षत्र का अधिपति સેમ નામના દેવ મૃગશિરા નક્ષત્રના અધિપતિ કહેલ છે, સામદેવતા ચંદ્રને કહે છે. श्री गौतमस्वामी - ( ता अदा णक्खत्ते किं देवयाए पण्णत्ते) आर्द्रा नक्षत्रना अधिपति प्रया हेव उडेस छे ? श्री लगवान् - ( ता अद्दा णक्खत्ते रुहदेवयार पण्णत्ते) आर्द्रा नक्षत्रना अधिपति ३द्रदेव एडेस छे, ३द्र नाम शंकुरनु छे. श्री गौतमस्वामी - ( ता पुणव्वसू नक्ख किं देवया पण्णत्ते) पुनर्वसु नक्षत्रता अधिपति या देव डेस छे ? श्री लगवान्(ता पुणव्वसू णक्खत्ते अदिइ देवयार पण्णत्ते) पुनर्वसु नक्षत्रनी अधिष्ठात्री सहिति नामनी हेवी आहेस छे. श्री गौतमस्वामी - (ता पुरसो णक्खत्ते किं देवयाए पण्णत्ते) पुष्य नक्षत्रना अधिपति देव नाम शु छे ? श्री भगवान् (ता पुरसो णक्खते बहस्सइ देवयाप पण्णत्ते) युष्य नक्षत्रना अधिपति देवतु नाम मृहस्पति छे, श्री गौतमस्वामी - ( ता अस्सेसा णक्खत्ते किं देवया पण्णत्ते) अश्लेषा नक्षत्रना अधिपति या देव प्रतिपादित उरेस छे ? श्री શ્રી સુર્યપ્રજ્ઞપ્તિ સૂત્ર : ૧

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