Book Title: Valmiki Ramayana Pada Suchi Part 2
Author(s): Govindlal H Bhatt
Publisher: Oriental Research Institute Vadodra

View full book text
Previous | Next

Page 1029
________________ समागम्य वसिष्ठेन II. go. 5a सदा लोके VI. 100.56e स्वयं चैवळ I 29.6e समागलितकेशान्ता: V. 18.160 समाचचक्षे भयकारणार्थम् III. 47. 5od समाच्छिय ननाद च VI. 76.9d समाजश्च महान्वृतः V. 27.30a समाज हरितस्ततः VI. 22.55d समाजेषु महत्सु च II. 57.13b समाजोत्सवदर्शिनाम् III. 38.24b समजोत्सवशालिनीम् II. 51.23b $6.21b समाजोत्सवशोभितः II. 100.44b समाज्ञापय काष्टानि IV. 2514a स मातरमुपक्रान्ताम् II. 20.21a 33 33 मातरं चैव विसंज्ञकल्पम् II. 21.55a मातलिं समायान्तम् VII. 29.24a मातामहमापृच्छ्य II. 70.28a ,,arga aa: af: VI. 127.50c समाददे दी मथार्थ चन्द्रम् VI. 59.138b समादधे वाणमथोग्रवेगम् VI. 71.98 राक्षसलोकनाथः VII. 59.38d समादायैकहस्तेन VI. 67.95c समादिदेशाप्रतिमं पराक्रमे V. 42.44c समादिदेशाशु निशाचरेश्वरः V. 44.20d समादिदेशेन्द्रजितं सरोष: V. 48. 1d समादिशत्तस्य वधं महाकपेः V. 51.45d समादिशत्तं प्रतिमुख्यमन्त्रीन् V. 48.6od समादिशन्तु नियमम् I. 9. Ira समादिश्य दशाननः VI. 107.40b समा द्वादश तत्राहम् V. 33.17a समाधत्स्व हुताशन I. 37.11b समाधाय च राघवम् II. 116.24b मतिं राम VII. 35.18c समृद्धार्थाः V. 61.5c " " رو در "" " "" Jain Education International ११९४ समाधियोगानुगतं च कालम् IV. 30.17b समाधिसंयोग विमोक्षतत्त्ववित् V. 47.14C समाधिसंयोगसमाहितात्मा V. 48.34d समाधिं श्रवण कुरु VII. 206d संदधे ततः I. 32.26f समाधूता दशग्रीवम् III. 52.270 " समानय च वैदेहीम् V. I. I6OC 58.33c "" "" " समानयत गच्छत II. 37.5b क्षिप्रम् VI. II. 18a शीघ्रम् VI. 57.18a 23 समानयत्स तान्सर्वान् I. 8.5c 31 29 93 ,, 12.7a समानयध्वं सैन्यानि VI. 32.43c समानयन्तु ते शीघ्रम् IV. 29.31c समानय पतिं पल्या VI. 32.31C सुसत्कृतम् III. 12b "" समानयस्व सत्कृत्य I. 13.21a समानयंश्चैव समागतं च VI. 32.44c समानयितुमर्हति II. 39.28b समानयेन्मां च रणे दशाननः V. 41.8d समानशोकः काकुत्स्थ: IV. 25.IC 21 33 " 53c समानश्च सुरर्षभैः VI. 119.13b समानसारं काकुत्स्थ I. 75.14a समानसुखदुःखिनीम् II. 29.2od समानं भीमनिःस्वनम् VI. 96.28b समानिनाय मेदिन्याम् II. 1.46c समानिन्युः समन्ततः II. 89. rod समानि विषमाणि च II. 79. 13b VI. 104.19b 23 39 सलिलोद्भवैः V. 9.39d समानीतमिदं मया VI. 10.5b समानीता निरर्थकम् VII. 39.4b समानीय नराधिपः VII. 55.12b "" " For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org

Loading...

Page Navigation
1 ... 1027 1028 1029 1030 1031 1032 1033 1034 1035 1036 1037 1038 1039 1040 1041 1042 1043 1044 1045 1046 1047 1048 1049 1050 1051 1052 1053 1054 1055 1056 1057 1058 1059 1060 1061 1062 1063 1064 1065 1066 1067 1068 1069 1070 1071 1072 1073 1074 1075 1076 1077 1078 1079 1080 1081 1082 1083 1084 1085 1086 1087 1088 1089 1090 1091 1092 1093 1094 1095 1096 1097 1098 1099 1100 1101 1102 1103 1104 1105 1106 1107 1108 1109 1110 1111 1112 1113 1114 1115 1116 1117 1118 1119 1120 1121 1122 1123 1124 1125 1126 1127 1128 1129 1130 1131 1132 1133 1134 1135 1136 1137 1138 1139 1140 1141 1142 1143 1144 1145 1146 1147 1148 1149 1150 1151 1152 1153 1154 1155 1156 1157 1158 1159 1160 1161 1162 1163 1164 1165 1166 1167 1168 1169 1170 1171 1172 1173 1174 1175 1176 1177 1178 1179 1180 1181 1182 1183 1184 1185 1186 1187 1188 1189 1190