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1. (हस+उं) = हसिउं, हसेउं (हँसकर) , 2. (हस+अ) = हसिअ, हसेअ (हँसकर) 3. (हस+ऊण) = हसिऊण, हसेऊण (हँसकर) 4. (हस+ऊणं) = हसिऊणं, हसेऊणं (हँसकर) 5. (हस+उआण) = हसिउआण, हसेउआण (हँसकर) . . 6. (हस+उआणं) = हसिउआणं, हसेउआणं (हँसकर)
(ख) शौरसेनी प्राकृत के अनुसार सम्बन्धक भूतकृदन्त में 'इय', 'दूण',
'दूणं', और 'त्ता' प्रत्यय भी क्रियाओं में जोड़े जाते हैं और क्रिया के
अन्त्य 'अ' का 'ई' और 'ए' हो जाता है। जैसे- ... . 1. (हस+इय) = हसिय, हसेय (हँसकर) ...
2. (हस+दूण) = हसिदूण, हसेदूण (हँसकर) 3. (हस+त्ता) = हसित्ता, हसेत्ता (हँसकर)
.
.
' (सकर)
(ग) पैशाची प्राकृत के अनुसार सम्बन्धक भूतकृदन्त में 'तूण' प्रत्यय भी
क्रियाओं में जोड़े जाते हैं और क्रिया के अन्त्य 'अ' का 'इ' और 'ए' हो जाता है। 1. (हस+तूण) = हसितूण, हसेतूण (हँसकर)
(घ) अर्धमागधी भाषा के अनुसार सम्बन्धक भूतकृदन्त में 'ताण, त्ताणं',
'तुआण, तुआणं', 'याण, याणं', 'आए' और 'आय' प्रत्यय भी क्रियाओं में जोड़े जाते हैं और क्रिया के अन्त्य 'अ' का 'इ' और 'ए' हो जाता है। जैसे1. (हस+त्ताण) = हसित्ताण, हसेत्ताण (हँसकर) 2. (हस+त्ताणं) = हसित्ताणं, हसेत्ताणं (हँसकर) 3. (हस+तुआण) = हसितुआण, हसेतुआण (हँसकर)
प्राकृत-हिन्दी-व्याकरण (भाग-2)
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