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उपसंहार
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श्रद्धास्पद गणिवर्य श्याममुनि,
भद्रस्वभावी गुण - धारी । पूज्य श्री के साथ हुआ है,
चौमासा मंगल - कारी ॥ भारत-भूषण शतावधानी,
रत्नचन्द्र जी गुजराती । साथ विराजे हैं सद्गुण की,
___ महिमा है अति मन - भाती ॥ पूज्य-पाद-पद्मालि 'अमर' मुनि,
ने यह ग्रंथ बनाया है । सेठ सुदर्शन जी का जीवन,
___ चरित - काव्य में गाया है ॥ विक्रमाब्द शर निधिनिधि विधु में,
___शुक्ल अष्टमी मंगसिरमास । पूर्ण किया है नगर आगरा,
'लोहामंडी' में सोल्लास ।।
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