Book Title: Jain Yog Granth Chatushtay
Author(s): Haribhadrasuri, Chhaganlal Shastri
Publisher: Hajarimalmuni Smruti Granth Prakashan Samiti Byavar

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Page 4
________________ श्रीहरिभद्रसूरि रचित - जैन योग : ग्रन्थ-चतुष्टय [ योगदृष्टिसमुच्चय, योगबिन्दु, योगशतक एवं योगविशिक हिन्दी अनुवाद तथा विवेचन सहित ] मार्ग-दर्शन : संयोजन परम विदुषी जैन साध्वी श्री उमरावकंवजी 'अर्चना' सम्पादक : अनुवादक : विवेचक डॉ० छगनलाल शास्त्री एम.ए. Jain Education International (हिन्दी, संस्कृत, प्राकृत तथा जैनोलोजी) पी-एच डी. काव्यतीर्थ विद्यामहोदधि प्रकाशक मुनि श्री हजारीमल स्मृति प्रकाशन ब्यावर ( राजस्थान ) For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org

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