Book Title: Abhidhan Chintamani Kosh
Author(s): Vijaykastursuri
Publisher: Vijay Nemi Vigyan Kastursuri Gyanmandir
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शब्दालभामामका
१८७
१५०२
वोटा
९८४
बोरुखान
व्याघ्रो
शन्दः लोकाङ्कः । शब्दः लोकाङ्क: | शब्दः लोकाङ्कः ८६४
५८३-शे. व्यसनसप्तक वैश्रवण १८९ 'व्यडम्बक ११५० व्यसनात ३८१ वैश्रवणालय . ११३२ 'व्यडम्बन' ११५० व्यसनिन् वैश्वानर १०९८ व्यतिहार ८७० व्याकरण
११३ व्यत्यय १५०२ व्याकुल व्यत्यास
व्याकोश ११२७. वैष्णव १०५४-शि. म्यथक
व्याख्याप्रज्ञप्ति २४३-शि. (वैष्णवी) २०१ व्यथा
१३७० व्याघ्र
१२८५ सारिण १३४३ व्यध.
१५२३
१४४० कहासिक ३३१ व्यधित
'व्याघ्रपुच्छ' ११५० व्यध्व
व्याघ्राट १३४० १२४० व्यन्तर ९१
११५७ बोलक १०७६ व्यपदेश
३७८ व्याज
३७८ . कोल्लाह १२३९
व्यभिचारिन्
३२६ व्याड १२२२-शि. (..) २९५
१३०३ बौषद १५३८ व्यय
१५१६ व्याडि ८५२ ध्यसक
व्यलीक ३७९ व्यादीर्णास्य १२८५-शे. ७४४ व्याध
९२७ ३४२ व्यवच्छेद ७८० व्याधाम १८१ व्यवधा १४७७ व्याधि
३१२. व्यक्ति १५१५ व्यवधान १४७८
४६२ व्यप्र
व्यवहार २६२ 'व्याधिघात' ११४० व्यङ्ग । १३५४
७८२-शे व्याधिस्थान ५६४-शे. व्यजन
व्यवाय
५३८ व्यान ११०९ ध्यजक २८२ १५०९ व्यापन्न
३७४ व्यजन
३९७ व्यसनवारक ७१३ । व्यापाद १३७२
दोहित्य
ध्यक्त

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