Book Title: Sramana 2007 10
Author(s): Shreeprakash Pandey, Vijay Kumar
Publisher: Parshvanath Vidhyashram Varanasi

View full book text
Previous | Next

Page 211
________________ गुजराती अर्थ हवे ते विचारवा लाग्यो, मारा हृदयने आनंद आपनार ते बाला ने मारे क्यां जोवी? विधि वड़े आ प्रमाणे विपरीत थये छते हवे शुं करवु ? हिन्दी अनुवाद अब वह सोचने लगा मेरे दिल को आनन्द देनेवाली उस बाला को मैं कहाँ देखूँ। विधि रुष्ट होने पर मैं क्या कर सकूँगा ? गाहा एत्थवि नयरे तीए कुल कोडि- समाउलम्मि विउलम्मि । दंसणमवि अइदुलहं अवियाणिय-कुल- हराए उ ।। २१० ।। संस्कृत छाया अत्राऽपि नगरे तस्याः कुलकोटि- समाकुले विपुले । दर्शनमप्यतिदुर्लभ- मविज्ञात- कुलगृहायास्तु ।। २१० ।। गुजराती अर्थ वळी कोटि जातिकुलोथी व्याप्त, विशाल वस्तीथी भरपुर एवा आ नगरमा अजाण्या कुल तथा घर वाळी ते बाळानुं दर्शन पण अतिदुर्लभ छे । हिन्दी अनुवाद कोटि जातिकुलो से व्याप्त, विशाल बस्ती से भरपूर, इस नगर में अनजाने कुल तथा घरों में उस बाला का दर्शन भी अतिदुर्लभ है। गाहा - इहिं पुण नाणाविह नयरेसुं पवसियम्मि लोयम्मि । दइयाए पत्तीयवि वियाणणे संभवो नत्थि । । २११ । । संस्कृत छाया इदानीं पुनर्नानाविध- नगरेषु प्रोषिते लोके । दयितायाः प्रवृत्तेरपि विज्ञाने सम्भवो नास्ति ।। २११ । । गुजराती अर्थ वळी अत्यारे विविध नगरोमां लोक गये छते तेणी ने शोधवाथी पण जाणकारी मळवी असंभव छे। 303

Loading...

Page Navigation
1 ... 209 210 211 212 213 214 215 216 217 218 219 220 221 222 223 224 225 226 227 228 229 230