Book Title: Epigraphia Indica Vol 11
Author(s): E Hultzsch
Publisher: Archaeological Survey of India

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Page 364
________________ 10 12 14 16 18 20 22 24 26 28 30 32 34 36 38 ॐ वालनुमानानि समयका सहशिधामा प्रमि संधी नि वयं ॥ पान पुन तिवाड़ी कार्तिः । तामानात यमवगुणिनाधिपव सतीय महलः स पु ल लोक प्रति इस गुण कृत मावि दीन मकान तमनुतोऽति पर *श्रीगोल सदा न सतावता विनाभाविक नितु एस बैरीवा सियम विकाद्या ॥४ तसा मनोमालिन यातयानी सो दिनको समय ताव म कुतपा पक्षात तापविशोसितास्त ती बडबड कोच विज्ञानी में ही पति कलिंस में तयातो त्यात तनिष्कोष संभन यः॥६ संग विद्या पालम पनि लेखि तीन निजी • सकता होलान नलिनन समाजाम मान्म हैं दशानन गुरु गुलसितादव- सु न शर्माको दाल रानता : घना के पिसासीत नः राय साइज सनस ईन्स जरा निगलना मताप्रसाद पति सवीन लाचिना सपनाः सुश्रुतः शेकाभियान सनद व रूपावरूवा कमी कति जना नपरिषतामा शतदिन सरु रुव दोजा प्रवाल, , मुसा व ते पुणे नागी नशीले सदी र तत्पुन डालीसा अनिवा वि ऊना (वासी पान समासादि नियमित हा सातत डण्ड नाम कटे सोसावनिता तलाव पद्धा वाजेन पीता सर्पशत विशे या नः मित सात जना वावयता सुतः संविदितय था। ल निराजन मा ज्यादा मसिनेकर के श्री विवादित नायव तो समस्त काश इसे प्राकमां सबहुल पारखा सरे। जो घिसक बंदि गुरोपका वनमा नाम सर्वसमास ii a. Sevadi Plates of Chahamana Ratnapala. - V. S. 1176. निरागस समान सवा साताव ता समाजावित तिला कुशा झेलन अलिमार वल तुतलापमा नुवान सुप साप नै लिनीयल यातु तलवार लतर रातरानी पनि संगसीघास घाघपटल पाटन पट पामा जन्मजुरासर र आपुतिल पर वायेकन प्रयाम वाया माता का नाम नमानेर वा लाना मुवान सदाक्षः सीताजी सुभा पासी (परतावलातच माथिना पाहु का मु वा वह ल मंगा तो वह म साच.डी जर सहा प्रशासन हरा लियानात लोकात या सुनाओं ली सुपुल यांस सुदामा देवी ( वान (नवा (स ने यह ना दिस ग्राम साप विद्यार्थी हा पुरी लगायत युवा काय वाता साद्ध यशु नाहिघड पनिशाना किरताय आवसथा यानुसार किया तर नाप निविडत र कलाम (वसाय वै योग वचन करा शाकविशविचतथा पशु काय सगुणी वादल लोकापुर विसरणरित भूपत कर जुला रूप विना पर्व मनाशीत मटक कलियुगादि दिवस चतुः प्रहर में यावत मानव ★ तापाने रूप सवार बिना भी लवकर्मा देतात या घटना में हमन कुजू पान वा सुकृतिना सा राजा श्री जा एकून परत ये घुसे सशय शासन का प्रकृति गोविंद (तपस्या तो किन सुतिनाम वसुर्भया विखा ने वरुर्व होन विसावतातनिर्यनको दादिक लोटा पूर्व मार हितेश या वाती परियार, खुता उता का आश व समसमीपगमन नग 12. V. VENKAYYA. SCALE 5 2 10 12 14 16 18 20 22 W. GRIGGS & SONS, LTD., PHOTO-LITH. 24 26 28 30 32 34 36 38

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