Book Title: Dev Dravya Nirnay
Author(s): Manisagar
Publisher: Naya Jain Mandir Indore

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Page 37
________________ अपमान करवाया और अन्य दर्शनियों में भी आपकी बडी हिलना हुई है. अतएव आपसे जाहिर विनंती है कि आप अपना हेंडबिल वापस लीजिये. ऐसे हैंडबिल पर हम लोग अपना असंतोष जाहिर करते हैं. विशेष क्या अर्ज करें. विशेष विनंती - यहां पर शास्त्रार्थ न होने का पहिले से ही निश्चय हो चुका है तिसपर भी आपने शास्त्रार्थ करनेका मंजूर कर लिया और संघ की सम्मति लिये बिना मुनि मणिसागरजी को बुलवाया. अब जब कि वो आगये तो संघ की बात बीचमें क्यों लाते हैं. आपकी इच्छा हो तो शास्त्रार्थ करें या न करें, बीचमें संघ का नाम बदनाम करने की कोई आवश्यकता नहीं है. तारीख १०/५/२२ १ परतापचंद हिंमतराम ३ हरकचन्द शांतिदास ५ सुगनचंद तेजकरण सुराणा ७ जीतमल कोठारी ९ जोरावरमल बागमल ११ नन्दराम जडावचंद १३ सुरजमल नाहटा १५ मानमल सिरेमल १७ फोजमल श्रीमाल १९ शिखरचन्द छाजेड २१ कस्तूरचन्द पोखरना २३ अमरचन्द दीपचन्द २५ सरदारमल चतर २७ हीरालाल मोतीलाल २ शिवचंद कोठारी ४ दीपचंद भंडारी ६ सरदारमल मूलचन्द जैचन्द कोठारी १० फौजमल बच्छावत १२ चांदमल उत्तमचन्द १४ सागरमल मेहता १६ हीराचंद जवरचन्द १८ हरकचन्द नेमीचन्द २० मेहता सोभागसिंग २२ प्रतापचन्द धूलजी २४ बागमल सांड २६ पेमचंद असलाजी २८ हीरालाल मेहता

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