Book Title: Bikaner Jain Lekh Sangraha
Author(s): Agarchand Nahta, Bhanvarlal Nahta
Publisher: Nahta Brothers Calcutta
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बीकानेर जैन लेख संग्रह
(२७६४ ) सं० १५१५ वर्षे मार्ग सु० १ दिने उकेश वंशे प० सूरा पु० भीमा सोनी पोया पुत्रेन ५० पारस श्रावकेण भार्या रोहिणी पुत्र खेता रीखा परिवृतेन श्री चन्द्रप्रभ स्वामी बिंब कारितं प्रतिष्ठितं श्रीखरतर गच्छे श्रीजिनचन्द्रसूरिभिः निजपुण्यार्थमिति ।
(२७६५) __ सं० १५२७ कार्तिक सु० १३ भोमे श्री श्रीमाल० ज्ञा० ऋ० केल्हा भा० गङ्गा सु० जसा भा० मेचू सुत गणीया विरीया मेहा सहितेन पि० मा० भ्रातृ श्रयेथं श्री धर्मनाथ बिंबं का०प्र० श्री पिप्पल म० भ० श्री अमरचंद्रसूरिभिः सिरधर प्रामे ।
(२७६६) ॐ श्री नागेन्द्र श्री सिद्धसेन दिवाकराचार्य गच्छे अम्मा छुप्ताभ्यां कारिता सं० १०८६
(२७६७ ) सं०..... वर्ष चै० सु० ७ श्री चैत्र गच्छे श्रीमाल.. कारित प्रति० श्रीधर्मदेवसूरिभिः
(२७६८) सं० १४२७ वर्षे ज्येष्ठ ब० १ शुक्रे ऊकेश ज्ञाती टाल्हण पुण्याय मं० नरदे० भ० श्रीप्रति. खरतर गच्छे श्री जिनचंद्रसूरि पट्टे श्री जिनेश्वरसूरिभिः
(२७६९) सं० १४९३ वर्षे फा० ब० १ श्री ऊकेश वंशे वहरा गोत्रे सोमण सुत धणसा श्रेयोर्थ श्री श्रेयांस बिबंकारितं ।-प्रति श्री खरतर गच्छे श्री जिनभद्रसूरिभिः
(२७७०) संवत् १४५९ वर्षे व्यव० खेतसीह पुत्राभ्यां व्यव० सीहा व्यव० सूदा सुश्रावकाभ्यां श्रीशीतलनाथ बिंबं पितृ पुण्यार्थं का० प्रति० खरतर गच्छे श्रीजिनराजसूरिभिः ।
स० १५१० वर्षे फागुण सुदि ११ शनौ श्रीब्रह्माण गच्छे श्री श्रीमाल ज्ञा० श्रेष्ठि. देपाल भा० देवलदे पुत्र गोगा भा० गंगादे गुरदे भीली पु० ल टमाल नाडा हेमा गजाभिः स्व पितृ मातृ श्रेयसे नि० श्रीश्रेयांसनाथ बिंब कारितं प्र० श्री जजगसूरि पट्टे श्रीपजनसूरिभिः । नरसाणा प्रामे
(२७७२) सं० १४८५ वर्षे वैशाख सुदि ३ बुधे उपकेश ज्ञातौ बप्पणाग गोत्रे सा० कूडा पुत्र साजणेन पित्रोः श्रेयसे श्रीचन्द्रप्रभ बिंबं का० प्र० श्री उपकेश गच्छे श्रीककुदाचार्य सन्ताने श्रीसिद्धसूरिभिः
(२७७३) सं० १५१७ वर्ष फागण वदि.....सोमेउ........श्रेयसे श्री आदिनाथ बिंबं कारापित श्री जयशेखरसूरि।
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