Book Title: Rajasthani Hindi Sankshipta Shabdakosh Part 01
Author(s): Sitaram Lalas
Publisher: Rajasthan Prachyavidya Pratishthan

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Page 767
________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra www.kobatirth.org Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir निब ( ७५८ ) निमत्रीहार निब-पु० अं० १ लेखनी के अग्रभाग में लगने वाला धातु का | निभचर-देखो 'नभचर'।। बना नोकदार उपकरण । २ लेखनी का अग्रभाग। निभणौ (बी)-क्रि० [सं० निर्वहतम्] १ संबंध का निर्वाह निबड़-पु. १ सेना, फौज । २ शत्रु, दुश्मन, वैरी। -वि० । होना । २ नियमों प्रादि का पालन होना । ३ पार पाना, १नि:शक, निश्चित । २ निर्भय, निडर । ३ देखो 'निविड' । पार पड़ना। ४ निकलना, छुट्टी पाना। ५ लगातार निबड़रणो (बो)-देखो 'निपटगो' (बी)। ___व्यवहार होना । ६ चरितार्थ होना । ७ साथ दिया जाना । निबड़ाणी (बो), निबड़ावणो (बो)-देखो 'निपटारणो' (बो)। | निभरम (मौ)-देखो 'निरभ्रम' । निबटणी (बो)-देखो "निपटगो' (बी)। निभा-वि० [स० निभ] सदृश्य, समान, तुल्य (जैन)। निबटाणो (बी)-देखो 'निपटारगो' (बो)। निभाग-पु० [सं० निर्भाग्य] प्रभाग्य, बदकिस्मती । निबटारौ--देखो निवेडो' । निमागौ-वि० [सं० निर्भाग्य] (स्त्री• निभागण, निभागी) निबटावरणी (बी)-देखो 'निपटाणो' (बी)। अभागा, बदकिस्मत । निबटेरो-देखो 'निवेडो'। निभाणो (बौ)-क्रि० [सं० निर्वाहनम्] १ संबंध का निर्वाह निबणो (बौ)-देखो 'निभरगो' (बी)। करना, बनाये रखना । २ नियमों ग्रादि का पालन करना। निबद्ध-पु० सं०] नियमानुसार गाया जाने वाला गीत । ३ पार पटकना। ४ निकालना, छुट्टी करना। ५ लगातार ___-वि० बधा हुअा, ग्रंथित । व्यवहार करना । ६ चरितार्थ करना । ७ साथ देना। निबळ-देखो 'निरबळ' । ८ संभाले रखना । ६ पूर्ण करना । १० गुजर करना । निबळाई-देखो 'निरबळता'। निभाव-पु० [स० निर्वाह] १ संबंध बनाये रखने की अवस्था निळियौ, निबळोड़ो, निबळी-देखो 'निरबळ' । (स्त्री० निबळी) | या भाव । २ बचाव या मुक्ति का रास्ता। ३ गुजारा, निबहरणी (बी)-देखो 'निभरणो' (बो)। जीवन निर्वाह । ४ नियम या कर्तव्य पालन। ५ किसी निबारण-१ देखो 'निरवाण'। २ देखो 'निवारण' । स्थिति को संभाले रखने या बनाये रखने की अवस्था या निवारणी (बी)-देखो 'निभाणो' (बी)। भाव। निबापौ-वि० [सं० नि-पित] (स्त्री० निबापी) जिसका पिता निभावरणो (बी)-देखो "निभागो' (बी)। न हो, पितृ-हीन । निभाहरणो-देखो 'निबाहणो' । निवाब-देखो 'नबाब'। -जादौ='नबाबजादो' । निभाहरणो (बी)-देखो "निभाणो' (बो)। निबाबी-देखो 'नबाबी'। निर्भ, निम्भ-देखो 'निरभय' । निबाव-देखो "निभाव'। निभ्र चणौ (बो)-कि० [देश॰] निंदा करना, भर्त्सना करना, निबावणी (बी)-देखो 'निभारणौ' (बी)। फटकारना, बुरा-भला कहना । निबास-देखो 'निवास' । निभ्रत-देखो निरभ्रांत' । निबाह-देखो 'निभाव'। निभ्रमो (म्म)-देखो "निरभ्रम' । निबाहक, निबाहणौ-वि० [सं० निर्वाहक] निबाहने वाला, | निमंत-देखो 'निमित्त । निर्वाह करने वाला। निमंतण, निमंतरौ, निमंत्रण-पु० [सं० निमंत्रण] १ बुलाने निबीजो-देखो 'निरबीज' । की क्रिया या भाव, बुलावा । २ बुलाने के लिए भेजा निबीह-वि० निडर, निर्भय । जाने वाला संदेश, पत्र आदि । ३ भोजन या किसी विशेष निबूल-वि० [सं० निमूल] १ निवंश । २ व्यर्थ, फिजूल । प्रायोजन में सम्मिलित होने का प्राग्रह । ४ उपस्थित होने ३ खाली । -पु० रक्त । की आज्ञा । -पत्र-पु० बुलाने के लिए भेजा जाने निबे-देखो 'नब्बे'। वाला पत्र। निबेड़ो-देखो 'निवेड़ो'। निमंत्रणौ (बी)-क्रि० [सं० निमंत्रणम्] १ बुलाना, बुलावा निबोळहार-पु. दिश.] स्त्रियों के कण्ठ का आभूषण विशेष । देना, निमंत्रित करना, निवतना । २ बुलाने का संदेश या निमंत्रण पत्र भेजना । ३ भोजन आदि के लिए पाने का निबोळी-देखो 'निबोळी'। प्राग्रह करना । ४ हाजिर होने की प्राज्ञा देना । निब्बे-देखो 'नब्बे'। ५ आह्वान करना । निम्भत-देखो 'निरभ्रांत'। निमंत्रीहार-पु० निमंत्रित व्यक्ति या सदस्य । -वि० निमंत्रित, निभ-पु. [स.] कपट । बुलाया हुआ। For Private And Personal Use Only

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