Book Title: Kavivar Banarasidas
Author(s): Akhil Bansal
Publisher: Bahubali Prakashan

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Page 14
________________ खडगसेन इन्हें व्यवसाय के लिए इन रत्नों और वस्तुओं कोलेकर यथासंभव अधिक आगरा भेजने की तैयारी करने तुम्हें पूरी जिम्मेदारी से जाना है। लाभ प्राप्त करना। लगे। इटावा पहुंचे तोआकाश मूसलाधार पानी बरसने मेघाच्छन्न हो उठा था। लगा। घनघोर वर्षी में बनारसीदाससहित सब आश्रयकेलिए इधर-उधर दौडे। INITAMINOWN C कोई इन्हें आश्रय देने को तेज ठंढ ,कीचड़, अंधेरा... नगर प्रवेशद्वार पर एक झोपड़ी थी तयारनहीं था। बनारसीदास की हालत दयनीय थी उसमें कुछ पहरेदार बैठे थे। सरछपानेकी जगह नहीं मिली तो मैं मरजाउंगा। भागजाओ। दयाकरिए।हम वणिक है। रात भरके लिए आश्रय खोज रहे है। नगर में कहीं जगह नहीं मिली। TU हम पहरेदार यहां सेजा रहे है। ड़ीका मालिक आएतो उससे - विनती कर लेना। IIMMIA

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