Book Title: Jain Dharm Darshan Part 05
Author(s): Nirmala Jain
Publisher: Adinath Jain Trust

View full book text
Previous | Next

Page 4
________________ * प्रस्तुत प्रकाशन के अर्थ सहयोगी* फलोदी निवासी श्रीमती रेशमीबाई कवाड़ स्व. श्री पन्नालालजी कवाड़ स्व. श्रीमती गुलाबबाई कवाड़ 404ONOR जीवनपर्यंत जिसने धर्म के मर्म को समझा, आधि-व्याधि, सुख-समृद्धि में भी समभाव जो रखा, देव-गुरू-धर्म के प्रति सदा समर्पित रहे, विराट् कुटुम्ब को कल्पवृक्ष समझकर जीवन जीते रहे । ऐसे हमारे पूर्वज पूजनीयों के सुकृत व तपोनुमोदनार्थ यह जैन धर्म दर्शन समर्पित ©© Sri Sumangali Jewellers Sri Vijay Shanti Jain Matriculation School 63, Alangayam Road, Tirupattur - 635 601. Vellore Dist. Telephone : 04179 - 225749 . 220549

Loading...

Page Navigation
1 2 3 4 5 6 7 8 9 10 11 12 13 14 15 16 17 18 19 20 21 22 23 24 25 26 27 28 29 30 31 32 33 34 35 36 37 38 39 40 41 42 ... 134