Book Title: Bikhre Moti
Author(s): Padmasagarsuri
Publisher: Ashtmangal Foundation

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Page 65
________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra www.kobatirth.org Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir (4)भाव चपल :- एक कार्य पूरा किये बिना दूसरा करें। चार के चार परिणाम : गुरु दर्शन से दरिद्रता जाती है। भगवान् की वाणी-श्रवण से पाप का क्षय होता है। जागते रहने से, चोर नहीं आता। मौन रहने से, क्रोध नहीं आता। प्रगति का मुख्य साधन :- अटल धैर्य। विपत्ति का साथी :- साहस। सबसे श्रेष्ठ मुहूर्त :- जब मन में हो उत्साह । विवेक को डुबाने वाला चुल्लू भर पानी :- शराब। एक व्यक्ति नित्य अशुद्ध रहता है :- असत्यवादी। एक बात कभी मुंह से मत कहो :- पराया भेद। कभी नहीं टूटने वाला एक कवच है :- नम्रता प्रत्येक मानव के साथ एक वरिष्ठ सलाहकार :- जाग्रत विवेक। संसार में जीवित स्वर्ग है :- प्रसन्न परिवार। शांति का एक ही मार्ग हैं :- संतोष । 56 For Private And Personal Use Only

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