Book Title: Agam Sutra Satik 05 Bhagavati AngSutra 05
Author(s): Dipratnasagar, Deepratnasagar
Publisher: Agam Shrut Prakashan
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भगवती अङ्गसूत्रं (२) ३०/-/१/९९८
आहारसन्नोवउत्ता जाव परिग्गहसन्नोवउत्ता जहा सलेस्सा, नोसन्नोवउत्ता जहा अलेस्सा सवेदगा जाव नपुंसगवेदगा जहा सलेस्सा, अवेदगा जहा अलेस्सा। सकसायी जाव लोभकसायी जहा सलेस्सा। अकसायी जहा अलेस्सा।
सजोगी जाव काययोगी जहा सलेस्स, अजोगी जहा अलेस्सा, सागरोवउत्ता अनागारोवउत्ता जहा सलेस्सा।
नेरइया णं भंते! किं किरियावादी? पुच्छा, गोयमा ! किरियावादीवि जाव वेणइयवादीवि, एवं एएणं कमेणं जच्चेव जीवाणं वत्तव्वया सच्चेव नेरइयाणं वत्तव्वयावि जाव अनागारोवउत्ता नवरं जं अत्थि तं भाणियव्वं सेसं न भण्णति, जहा नेरइया एवं जाव थणियकुमारा ।
पुढविकाइया णं भंते! किं किरियावादी ? पुच्छा, गोयमा ! नो किरियावादी अकिरियावादीवि अन्नाणियवादीवि नो वेणइयवादी, एवं पुढविकाइयाणं जं अस्थि तत्थ सव्वत्यवि एयाइं दो मझिलाई समोसरणाई जाव अनागारोवउत्तावि, एवं जाव चउरिंदियाणं सव्वट्टाणेसु एयाइं चैव मझिलगाइंदो समोसरणाइं, सम्मत्तनाणेहिवि एयाणि चैव मझिलगाई दो समोसरणाइं, पंचिंदियरतिक्खजोणिया जहा जीवा नवरं जं अत्थि तं भाणियव्वं, मणुस्सा जहा जीवा तहेव निरवसेसं, वाणमंतरजोइसियवेमाणिया जहा असुरकुमारा ।
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किरियावादी णं भंते! जीवा किं नेरइयाउयं पकरेइ तिरिक्खजोणियाज्यं पकरेइ मणुरसाउयं पकरेइ देवाउयं पकरेइ ?, गोयमा ! नो नेरइयाउयं पकरेइ नो तिरिक्खजोणियाउयं पकरेइ मणुस्साउयंपि पकरेइ देवाउयंपि एकरेइ, जइ देवाउयं पकरेइ किं भवणवासिदेवाउयं पकरेइ जाव वैमाणियदेवाउयं पक० ?, गोयमा ! नो भवमवासीदेवाउयं प० नो वाणमंतरदेवाउयं पक० नो जोइसियदेवाउयं पकरेइ वेमाणियदेवाउयं पकरेइ ।
अकिरियावादी णं भंते! जीवा किं नेरइयाउयं पकरेइ ? तिरिक्ख० पुच्छा, गोयमा ! नेरइयाउयंपि पकरेइ जाव देवाउयंपि पकरेइ, एवं अन्नाणियवादीवि वेणइयवादीवि । सलेस्सा णं भंते! जीवा किरियावादी किं नेरइयाउयं पकरेइ ? पुच्छा, गोयमा ! नो नेरइयाउयं एवं जहेव जीवा तहेव सलेस्सावि चउहिवि समोसरणेहिं भाणियव्वा ।
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कण्हलेस्सा णं भंते! जीवा किरियावादी किं नेरइयाउयं पकरेइ ? पुच्छा, गोयमा ! नो नेरइयाउयं पकरेइ नो तिरिक्खजोणियाउयं पकरेइ मणुस्साउयं पकरेइ नो देवाउयं पकरेइ, अकिरिय० अन्त्राणियवेणइयवादी य चत्तारिवि आउयाइं पकरेइ, एवं नीललेस्सावि ।
तेउलेस्सा णं भंते! जीवा किरियावादी किं नेरइयाउयं पकरेइ ? पुच्छा, गोयमा ! नो नेरइयाउयं पकरेइ नो तिरिक्ख० मणुस्साउयं प० देवाउयंपि पकरेइ, जइ देवाउयं पकरेइ तहेव, तेउलेस्सा णं भंते! जीवा अकिरियावादी किं नेरइयाउयं पुच्छा, गोयमा ! नेरइयाउयं पकरेइ मणुस्साउयंपि तिरिक्खजोगियाउयंपि पकरेइ देवाउयंपि पकरेइ, एवं अन्नाणियवादीवि वेणइयवादीवि, जहा तेउलेस्सा एवं पम्हलेस्सावि सुक्कलेस्सावि नेयव्वा ।
अलेस्सा णं भंते! जाव किरियावादी किं नेरइयाउयं पुच्छा, गोयमा ! नेरइयाउयंपि पकरेइ एवं चउविहंपि, एवं अन्नाणियदीवि वेणइयवादीवि, सुक्कपक्खिया जहा सलेस्सा। सम्पदिट्टी णं भंते! जीवा किरियावादी किं नेरइयाउयं पुच्छा, गोयमा ! नो नेरइयाउयं
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