Book Title: Jain Dharma ka Maulik Itihas Part 1
Author(s): Hastimal Maharaj
Publisher: Jain Itihas Samiti Jaipur

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Page 861
________________ ७६७ लक्षण - क्र.सं. तीर्थकर नाम स्वेताम्बर संवर्भ-पंथ दिगम्बर संदर्भ-ग्रंथ |प्रवचन० द्वार २६/ सत्त० द्वा. ४२ | तिलोय पण्णत्ती गा. ३७६-८० गाथा १२१-१२२ - गा.६०४-६०५ वृषभ बेल गज प्रश्व बन्दर चकवा १ ऋषभदेव २ अजितनाथ ३ संभवनाथ ४ अभिनन्दन ५ सुमतिनाथ ६ पद्मप्रभ ७ सुपार्श्वनाथ चन्द्रप्रभ ६ सुविधिनाथ १० शीतलनाथ ११ श्रेयांसनाथ १२ वासुपूज्य १३ विमलनाथ १४ अनन्तनाथ १५ धर्मनाथ १६ शान्तिनाथ १७ कुंथुनाथ १८ परनाथ वृषभ गज गज तुरय (प्रश्व) प्रश्व वानर वानर कुचु (कोच) कमल रक्त कमल स्वस्तिक स्वस्तिक चन्द्र चन्द्र मगर मगर श्रीवत्स श्रीवत्स गण्डय खड़ी (गेंडा) गेंडा महिष महिष वराह श्येन श्येन वज्र वज्र हरिण छाग छाग नंद्यावर्त नंद्यावर्त वराह कमल नंद्यावर्त प्रद्ध चन्द्र मगर स्वस्तिक गेंडा भैंसा शूकर सेही वज्र हरिस छाग तगर कुसुम (मत्स्य ) कलश हरिण कलश १९ मल्लिनाथ २० मुनिसुव्रत २१ नमिनाथ कलश कूर्म नीलोत्पल कर्म नीलोत्पल शंख २२ परिष्टनेमि २३ पार्श्वनाथ २४ महावीर शंख मर्प सिंह उत्पल (नील कमल) शंख सर्प सर्प सिंह सिंह पृ० २१६ Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org

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