Book Title: Jain Dharma ka Maulik Itihas Part 1
Author(s): Hastimal Maharaj
Publisher: Jain Itihas Samiti Jaipur

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Page 946
________________ ८८२ स्थानांग सूत्र की टीका-६४, ६४५ हिन्दी विश्वकोष हिरण्यगर्भ सूक्त-४७६ हरिभद्रीय प्रावश्यक-७१६ हिस्टोरिकल बिगिनिंग प्रॉफ जैनिज्म-४७७ हरिवंश व्यास (व्यास)-४३१-४३४, ४३६ हिस्ट्री प्रॉफ इण्डिया (एडवान्स्ड)-७६६ हिस्ट्री प्रॉफ कैनानिकल लिटरेचर प्रॉफ हरिवंश पुराण (जिनसेन) ४५, ५१-५३, जनाज-६४७ ७४, १६२, १७२, १७४, २२३, हिस्ट्री एण्ड डोक्टराइन्स ऑफ प्राजीवकाज३४१, ५५६, ७३५ [५] मत, सम्प्रदाय, वंश, गोत्रादि (अ) प्रक्रियावादी-७३७ मज्ञानवादी-७३७, ७३८ (मा) आजीवक-५०२, ६५६, ७२०, ७२६, ७२८-७३६, ७३६. गोशालकमती-५०२ गौतम गोत्र-३१५, ४८२ चरग-७३६ चौलुक्य कुल-७६८ इम्यकुल-४२० इक्ष्वाकु वंश-२३, ४८२, ५६० तच्चनिय-७३६ तिब्बती परम्परा-७७७ तिम्बती बौद्ध परम्परा-७८०, ७५१ ईसरमत-७३६ उपवंश-४८२ उपभोमवंश-४२२ उलूम-७३६ दशाह-३४३, ३४४, ३४६, ३४८, दिगम्बर परंपरा-१४, २०. ३०, ५१, १२, ६१, ६५, ७२, २१८, •४८७, ४६३, ५३६, ५४०, ५४५, ५५५, ५५६, ५६०, ५६५, ६१४, ६६६, ७३४,७७४ कपिल मत-७३६ कम्मावादी-७३६ कविल-७३६ कावाल-७३९ कावालिय-७३६ काश्यप गोत्र-४८२ क्रियावादी-७३७, ७३६ निम्रन्थ सम्प्रदाय-४६९, ५०० ५०२, ५०३ पासस्थ-७३५, ७३६ Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org

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