Book Title: Jain Darshan me Karan Karya Vyavastha Ek Samanvayatmak Drushtikon Author(s): Shweta Jain Publisher: Parshwanath Shodhpith Varanasi View full book textPage 5
________________ श्रीप्रकाश पाण्डेय ने किया है, एतदर्थ हम उनके प्रति हृदय से आभार ज्ञापित करते हैं। इस ग्रन्थ के सहप्रकाशक प्राच्यविद्यापीठ, शाजापुर के पदाधिकारियों के प्रति भी हम अपना आभार ज्ञापित करते हैं जिन्होंने प्रकाशन में सहभागिता हेतु अपनी सहर्ष सहमति हमें दी। सुन्दर टंकण एवं अक्षर समायोजन हेतु क्रमश: श्री कमलेश मेहता, जोधपुर तथा श्री सुनील कुमार, 'ऐड विज़न', वाराणसी निश्चय ही धन्यवाद के पात्र हैं। सत्वर एवं स्पष्ट मुद्रण हेतु हम वर्द्धमान मुद्रणालय, वाराणसी के प्रति अपना आभार प्रकट करते हैं। आशा है जैन कारण-कार्य व्यवस्था के सन्दर्भ में नये तथ्यों को उद्घाटित करने वाली यह पुस्तक विद्वानों, शोधार्थियों तथा सामान्य जिज्ञासुओं के लिए अत्यन्त उपादेय सिद्ध होगी। प्रोफेसर सागरमल जैन सचिव, पार्श्वनाथ विद्यापीठ, वाराणसी मानद् निदेशक, प्राच्यविद्यापीठ, शाजापुर Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.orgPage Navigation
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