Book Title: Bambai Chintamani Parshwanathadi Stavan Pad Sangraha
Author(s): Agarchand Nahta, Bhanvarlal Nahta
Publisher: Chintamani Parshwanath Mandir

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Page 12
________________ चिन्तामणि पार्श्वनाथमंदिर के प्रतिमा लेख १६. सं० १८८८ माघ सुदि ५ सोमे श्री सुविधिनाथबिंब कारितं श्री मालान्वय महिमवाल गोत्रीय जोतमल्लस्य भार्या रुपाख्यया पुत्र धूमीमल्लेन । प्र. । वृ.।"""" १७. सं. १८८८ माघ सुदि ५ सोमे श्रीचंद्रप्रभ जिनवि कारितं । प्र.। वृ । भ । खरतरगच्छाधिराज श्रीजिनचंद्रसूरिभिः श्रीजिनालयसूरिपदस्थैः । - दोतल्ले स्थित लेख :१८. संवत् १९२४ माघ शुक्ल १३ गुरौ सुमति जिनबिंबं कारितं श्रीमाल छम...''जी भावसिंघ... १६. सं. १६०४ । माघ शुक्ल १२ बुधे श्री शीतलनाथबिंब पचालदेशे कांपिल्यपुरे प्रतिष्ठितं च श्रीमबृहत्भट्टारक खरतरगच्छीय श्रीजिन.. २०. सं० १८७७ माघ सु० १३ बु । उसवा. छजलानी गो २१. सं. १९०४ वर्षे शाके १७६६ प्र । माघ मासे... २२, सं. १८८८ माघ शुक्ल ५ सोमे श्रीसुविधिनाथबिंबं कारितं ओसवंशो.. २३. संवत् ११३ शाके तिथौ माघ शुक्ल पंचम्यां ५ भृगुवासरे श्रीमत्शांतिनाथ जिनदीदा कल्याणक पादुका ओसवंशे वैद महता गोत्रीय 'प्रसाद कालिकादास तत्पुत्र अबुजि तत्पुत्र शिखरचंद्रादि सपरिवारेण बृहत्खरतरगच्छीय भ. जिनजयशेखरसूरिभिः श्रेयः २४. सं. १८२८ शा. १६६४ प्र. वै. सु. १२ गुरौ सा.। भाईदासेन श्री पद्मावतीमूर्ति कारिता प्र। श्रीखरतर ग.. __२५ सं. १८८८ वर्षे मिती वैशाख सुदि खेमचंद गोरा भैरव मूर्ति कारापिता प्र । वाणारस अमरसिंधुरगणिः खरतरगच्छे । Jain Educationa International For Personal and Private Use Only www.jainelibrary.org

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