Book Title: Agam Sudha Sindhu Part 09
Author(s): Jinendravijay Gani
Publisher: Harshpushpamrut Jain Granthmala
________________ [25] श्री आगम मुधा मिन्यु नवमो विभाग में महापरिचाहे महम्मिए अहम्माणुए अहम्मसेवी अस्मिठे अंधः म्मम्वाई अधम्मरागी भधम्मपलोई अधम्मजीवी अधम्मपलज्ज भर्यम्मसीलसमुदायारे अधम्मेण चेव वित्ति कय्येमागे विहरहण छिंद भिंद विकत्तए (अंतके) लोहितपाणी चंदा लद्दा खुदा साहसि. या उइंचणवंधण माथाणिहि- कूडकड(माई)सातिसंपभोगबहुला दस्सीला दुपरिचया दुचरिया दुरणुणेया दु-लया दुप्पडियाणंदा निस्सीला निगुणा जिम्मेरा निप्यच्यम्वाणपोसहीयवासी भसाहू सब्वामी पाणाइवायाभी अय्यडिविरया जावज्जीवाए एवं जाव सव्वाओ कोहाओ सब्याओमाणाओ सव्वाओ मायाओ सव्वाओ लोभाओ सब्बाओ पेज्माओ दोसाओ कलहाओ अब्भवस्याणा पेसन्नाओ परपरिवादाओ अरनिरसीभी सब्याभो मायामोसाओ / मिच्छादसणसल्लाओ अय्यरिविरया जारजीनाए / सबाओ कसाथ-तक-हाणुव्बणभंगण-वण्णथमट्टणविलेवा-सह-. फरिस-रसरूव-गंधमल्लालंकाराओ अभ्यडिविस्था जावजीवाए 10 / सञ्चामो सगर-रह-जाण - जुग गिल्लिधिल्लि.सीया-संद्रमाणिय सयणासण-याणवाहण भोयणपवित्थरविधीनो अपरिबिरयाजा. वज्जीवाए 11 / असमिवियकारी रास वाओ भास हरिय-गो महिमअवलय- ट्रांसीदास - कम्मकरपुरिमाभो अपरिस्रिया जावज्जीवाए 13 / सम्बाओ कयविलय- मासामास-सवगसंवहाराओ अप्परिविरया जावजीएसव्याओ हिराणसवण-धण्ण-मणि मुत्तियसंस्खसिलप्पवालाओ अय्याविरया जावज्जीवाए 15 // सब्बाओ कुड. तुलकूडमाणाओ अप्यडिविनया 16 // सख्याओ आरंभसमारंभाभो भष्य. डिविरया 331 सवाओ पथणययानणाओ अप्पडिरिया /सब्बाओ करणकारावणाओ अप्पडिविरया 19 / सब्वामी कुणपिणतज्जणताडण-वधबंधपरिकलेसाओ अप्पडिविरया जावजीनामा मे थावणे तहय्यगारा सावज्जा अबोहिया कम्मता कति परमाणपरियावणकडा कजति ततोवि अप्पडिक्रिया जावज्जीवाए 21 सेजहानामार कश्पुरिसे कलममसूर-तिलमुश-मासनिष्फाव-कुलय अलिसं
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