Book Title: Agam 18 Upang 07 Jambudveep Pragnapti Sutra Jambuddivpannatti Terapanth
Author(s): Tulsi Acharya, Mahapragna Acharya
Publisher: Jain Vishva Bharati

View full book text
Previous | Next

Page 459
________________ दधि-दव्वीकर १४३ दधि (दक्षि) ज ४११२५:५१६२ सु १०।१२० दलिय (दलिक) ज ३१३५ दप्पण (दर्पण) च ३३१२,१०८:४।२८,५१५८ वव (द्रव) प २१४१ दप्पणिज्ज (दपणी) १७१३४ २०१८ दवारग (द्रबकारक) ज ३।१७८ दप्पिय (दपित) ३१२४; ७१७८ दव (द्रव्य) प १११०१।९३.१२४,१७७,१७८%; दभ (दर्भ) ज ११२२ उ ३५१५६ १०५:१११४७,५३,५५.५.७,५६.७० से ७३,७६ दभपुप्फ (दर्भपुल) र १० से ८५,१५।५७,१६।५०:२१११।१,२११२२; दम्भसंथार (दर्भस्तार) ज ३।२०३३,५४,६३, २२।१३,१५,१७,१६,८०,८२,२८।५; ७१,८४,१३७,१७,१५२ उ१४३ ३५।१।१ उ ११४० दब्भसंथारग (दास्तारः) ज ६।२०,३३,५४, दवओ (व्यतम्) ११११४८,४६१२१७,१०; २८५,५१, ३५१४,५ ज २६६ दभियायण (दायिन): १०।११२ दव्वजाय (द्रव्य जात) ज २१६६ दरणग (दमा ) प ११४४।३ ज ५१८ दोनावृक्ष, दव्वछ (द्रव्यार्थ) प३।११६ से १२०,१२२, द्रोणलता १७६ से १८२; १०।३ से ५,२६ से २६; दमणगड (दा कमुट) ज ४११०७ १७९१४४ से १४६,२११०४ दमणय (दग्गज ३११२८८ दवट्ठता (द्रव्याथं) प ३।११६ से ११८ दमिल (द्राविडी १८६ देवठ्ठया (द्रव्यार्थ) प ३३११४,११६,१२०,१२२, दमिली (विडा द्रमिका) ज ३।१११२ १७६ मे १८२,५१५,७,१२,१४,१६,१८,२०, दरि (दरि) ज २१३८,३८८,१०६ २४.२८,३०,३२,३४,३७,४१,४५,४६,५३, दरिदा (दरिबहुल) न १।१८ ५६,५६,६३,६८,७१,७४,७८,८३,८६,८९, दरिय (दप्त) ज २११३३३४ ६३,६७,१०१,१०४,१०७,१११,११५,११६, दरिसणावरणिज्ज वसंता रणी ) प २२१२८; १२६,१३१,१३४,१३६,१३८,१४०,१४३,१४५, २३।१४,२६,२६१७,२७१४ १४७,१५०,१५४,१६३,१६६,१६६,१७२, ररिसणिज्ज (दर्शनी प|३०,३१,४१,४८, १७४,१७७,१८१,१८४,१८७,१६०,१६३, ४६,५६६३.६४ ज ११८.२३.३६ ४२,२।१२. १६७,२००,२०३,२०७,२११,२१४,२१८, १४,१५:३११७८,४॥३६.१३,२५,२७,२६, २२१,२२४,२२८,२३०,२३२,२३४,२३७, ३३.४६,११,१२८ ४३.६२ गु ११ उ ५।४ २३६,२४२,१०।३ से ५,२६ से २६, १७४१४४ से १४६,२१११०४ ज ७।२०६ दरी (दरी) उ ३१५५ उ ३४४ दल (दल) ज. २३१५३:१०६ चं ? दलइत्ता (दत्वाज दव्वणिया (द्रव्यहलिका) प ११४७ दिलय (द) दलल्म उ ३१२८ दल इ विदिय (द्रव्येन्द्रिय) प १५३५८१२,१५०७६ से ज ३१६,४१६१:५॥४६ ११०१३३११४ ८४,८६,६१,६४ से ६७,१००,१०४ से १०६, दलयंतिपदा तिज ३८८ दलयह १०८,१०६,११४,११५,११७ से १२०,१२३, उ११०३ दलमि उ१०३:३१११२ १३१,१३२.१४०,१४२,१४३ दलयानो उ ४ दवी (दार्वी) प ११४४।२ दारुहरिद्रा दलयित्ता (दत्वा) ३.८८ दध्वीकर (दर्वीकर) ५११६६,७० Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org

Loading...

Page Navigation
1 ... 457 458 459 460 461 462 463 464 465 466 467 468 469 470 471 472 473 474 475 476 477 478 479 480 481 482 483 484 485 486 487 488 489 490 491 492 493 494 495 496 497 498 499 500 501 502 503 504 505 506 507 508 509 510 511 512 513 514 515 516 517 518 519 520 521 522 523 524 525 526 527 528 529 530 531 532 533 534 535 536 537 538 539 540 541 542 543 544 545 546 547 548 549 550 551 552 553 554 555 556 557 558 559 560 561 562 563 564 565 566 567 568 569 570 571 572 573 574 575 576 577 578 579 580 581 582 583 584 585 586 587 588 589 590 591 592 593 594 595 596 597 598 599 600 601 602 603 604 605 606 607 608 609 610 611 612 613 614 615 616 617