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२४६८ जेठ २४७१ " २४७३ " २४७६ ” २४७९" २४८१" २४८४" २४८७ जेठ २४९० चैत्र २४९२ भादवा २४९५ आषाढ़ २४९८ जेठ २५०० आसोज ऊपर दिए विवरण से कतिपय निष्कर्ष प्राप्त होते हैं
१. सामान्यतया तीसरे वर्ष में एक अधिक मास होता है। २. प्रत्येक १९ वर्ष बाद वही मास अधिक होता है।
३. प्रत्येक १४१ वर्ष बाद १८वें वर्ष में अधिक मास होता है । इन निष्कर्षों के अपवाद भी हैं -
१. नौ वर्षों बाद दूसरे वर्ष में अधिक मास हुआ है। २. वि० सं९ ४६२ में २०वें वर्ष में चैत्र मास बढ़ा है। ३. सं० २०३९ में फाल्गुन और आसोज दो मास बढ़े हैं और एक मास क्षय हुआ है।
प्रस्तोता-मुनि श्रीचन्द
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तुलसी प्रज्ञा