Book Title: Hindi Jain Sahitya ka Bruhad Itihas Part 2
Author(s): Shitikanth Mishr
Publisher: Parshwanath Shodhpith Varanasi
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मरु-गुर्जर जैन साहित्य का बृहद् इतिहास ऐतिहासिक रास संग्रह १५८, कर्मकाण्ड टीका ५५२
१५९, १३२. १२९, ३३९, कर्मविपाक रास ३४४ ३४०, २२२, २१४
कर्म हिडोलना ५६७ ऐतिहासिक संज्झाय माला १२४ कयवन्ना चौपई १३५, ४७२, १३१६ औपपातिक सूत्र बाला० ३६३ कयवन्ना चौढालिया १८६ औष्ट्रिक मतोत्सूत्र दीपिका २० कयवन्ना रास २५२ ४४१, ४६२,.
कयवन्ना ऋषि संज्झाय ४४६ कइवन्ना चौपई ५०७
कयवन्ना सन्धि १३१ कटुकमत पट्टावली ८५,
करकंड चरिय ५०६ कथाकोश २८२, २८३ कथाचूड चौपई २७९, २८१
कल्पदीपिका १६६ कथारत्नाकर ५९७
कल्पसूत्र बाला० ५५६, ६१७, कथा सरित्सागर २३२
६१३, ४९४, ४९५, ५०९, ७३ कन्दर्पचणामणि २०
कल्याणक मन्दिर स्तोत्र ३१ कनकरथरास २७९, २८२
कल्याण विजयमणि नो रास १६४ कनकवेष्ठि रास ३२४
कलावती चौपई ५२३, ४६९, १३४ कनकावती आख्यान ५९८ कलावती रास ५२५ कपिल केवली रास २३२
कविप्रिया ९८ कर्पूर प्रकरण ६१४
कादम्बरी २१ कर्पूरमञ्जरी रास ३३७, ३३८, कानडीतु पार्श्वस्तवन ६१०
कान्हड दे प्रबन्ध २३२ ।। कबीरा पर्व २२५
कापड़हेड़ा तीर्थरास ४२९ कर्मग्रन्थ टव्वा ५३०
कापड़हेड़ा रास २१४, २१५ कर्मघंटावली ६६, ६४
कामलक्ष्मी वेदविचक्षण मातृ पुत्र कर्मग्रन्थ बाला० ६१४, ५०३, कथा चौपई १६० कर्मचन्द वंशावलीरास १३१ कामावती वार्ता ४९६ कर्मग्रंथ वंधस्वामित्व बाला. ३३५ कायस्थिति बाला० ५३० कर्मचंद वंशोत्कीर्तन १७२ कालकाचार्य कथा १९५, ५५६, कमलविजय रास ५९५,
५९४, ४९४, कर्मछत्तीसी ५१७
काव्य कल्पलता वत्ति मकरंद ४४५ कर्मप्रकृति विधान ३१०
काव्य कल्पलता मकरंद ४९७ कर्मबत्तीसी १८३
काव्यप्रकाश ५१२, १२२
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