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अभिनव प्राकृत-व्याकरण
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समयवाचक अव्यय जामाहि, जाम, जाउं-जब तक तामहि, ताम, ताउ-तब तक तो-तबसे
अन्य अव्यय अन्न, अन्नह < अन्यथा
अन्य प्रकार से। अवसर अवशेन
वश में न होने से। अवसर अवश्यम्
अवश्य ही। अहवह अथवाआहरजाहर, ऐहिरेयाहिरे-- एम्बहि < इदानीम्
इस समय। उट्ठवइस उत्तिष्ठविश
उठने का इच्छुक । इक्कसि < एकशः
एक वार। एत्तहे अन्न
यहां एत्तहेर इत:
यहां से अथवा वाक्यारम्भ के लिए । जि
जिससे । एम्ब< एवं
इस प्रकार, ऐसे या वाक्य जोड़ना। एम्वइ<एवं कहतिहु< कुतः
कहां से।. किह, किधर कथम्
क्यों या किस तरह। किर किल
किल, निश्चय । केत्थुर कुत्र
कहाँ। केहि
तादर्थ्य बतलाने के लिए या किलके । खाई
निरर्थक वाक्य पूर्ति के लिए।
घुग्ध छुडुद यदि जणि, जणु जेत्थु, जत्तु र यत्र जेम, जिम, जेम्ब, जिम्ब< यथा जिह, जिध जाम, जा, जामहि यावत् तणेण :
चेष्टा का अनुकरण करने में। जो। जानना या इव की सूचना के लिए। जहाँ। जैसा।
जब तक। तादर्थ्य की सूचना के लिए।