Book Title: Mayavi Rani
Author(s): Bhadraguptasuri
Publisher: Mahavir Jain Aradhana Kendra Koba

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Page 116
________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra www.kobatirth.org Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir पराक्रमी अजानंद १०६ इतने में तो वह बाघ छलाँग लगाकर सैनिकों की ओर लपका ! बाघ को अपनी तरफ लपकता देखकर सैनिक लोग हड़बड़ा कर खड़े हो गये। अपने बचाव के लिए कोशिश करने लगे। उनके पास शिकार को बाँधने के लिए लोहे की भारी जंजीर थी । उस जंजीर से उन्होंने उस बाघ को काफी मेहनत करने के बाद बाँध लिया और पिंजरे में डालकर नगर में ले आये ! जब यह बात सारे नगर में फैली तो सभी लोग दुःखी दुःखी हो उठे । अपना प्रिय राजा बाघ बन गया और सबका लाड़ला राजकुमार अपने ही पिता के हाथों मारा गया- इस बात का सभी को गहरा अफसोस होने लगा। लेकिन वे बेचारे कर भी क्या सकते थे? ओ परदेशी ! वह बाघ अभी इस राजमहल में ही है। अब तुम ही कहो-जिस नगर में ऐसी भयानक दुर्घटना हुई हो, उस नगर में भला शोक और संताप नहीं होगा तो और क्या होगा? इस नगर में अब उदासी और आँसू के अलावा बचा भी क्या है ?' कहते-कहते द्वाररक्षकों की आँखें आँसुओं से भर गयी! सारी बात सुनकर अजानंद का दिल भी भर आया । वह बोला : 'ओ वफादार सैनिक, उस बाघ को वापिस राजा बनाने के लिए कोई कोशिश की जा रही है क्या ?' ‘हाँ, हमारा मंत्रीमण्डल जी-जान से हर तरह की कोशिश कर रहा है। अनेक मंत्र-तंत्र करने वालों को बुलाया गया । झाड़-फूँक करने वालों को भी बुलाया गया। डोरा-ताबीज करने वालों को भी लाया गया। उन सबने काफी कोशिशे की। कई तरह के जाप जपे, कई तरह के होम-हवन किये। पर सब कुछ व्यर्थ रहा। सारे प्रयत्न निरर्थक साबित हुए। वे बेचारे मांत्रिक और तांत्रिक भी क्या कर सकते हैं? जब आदमी का भाग्य ही रुठ गया हो ! उसकी किस्मत ही उससे नाराज हो तब कोई कुछ नहीं कर सकता ! जब दुर्भाग्य आता है तब कितना भी ज्ञान हो, देव-देवी की आराधना की हो, परोपकार के कार्य किये हों, अरे बड़े राजा-महाराजा की कृपा भी हो, पर यह सब किसी काम नहीं आता है! हमारे राजा की स्थिति ऐसी ही दुर्भाग्यपूर्ण हो गयी है । जैसे पूनम की रात को आकाश में चाँद को राहु ग्रसित कर लेता है ! वैसे हमारे राजा पर दुर्भाग्य का राहु छा गया है। हालाँकि उपचार तो चालू ही है पर नतीजा कुछ भी नहीं मिल रहा है।' अजापुत्र ने कहा : 'भाइयों, तुम मुझे बाघ के पास ले चलो। यदि परमात्मा की कृपा होगी तो मैं उसे राजा बनाने की भरसक कोशिश करूँगा और मुझे विश्वास है कि मैं For Private And Personal Use Only

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