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पुं० देवनागरी वर्णमालाका सातवाँ अक्षर-एक स्वर बोझ ; ऋण ऋण न० ऋण; कर्ज (२) एहसानका ऋणसंबंध पुं० पूर्वजन्मका लेन-देन ऋणानुबंध पुं० पूर्वजन्मका लेन-देन (२) लेन-देन
• ऋणियं, ऋणी वि० ऋणी; क़र्जदार; देनदार (२) आभारी
ऋतु पुं० गर्भाधानका काल (२) रजोदर्शन (३) दो मासका नियत काल; ऋतु (४) मौसम; किसी चीजके होनेका उपयुक्त काल [ला.] (५) आबोहवा।[-सवी मौसमका शुरू होना.
ए पुं० देवनागरी वर्णमालाका दसवाँ
अक्षर-एक स्वर ए स० (निश्चयवाचक) वह (२)
वर या वधूकी संज्ञा (हिंदुओंमें) (३) वि० वह एक वि० एक; १ (२) वेजोड़;
अद्वितीय (३) अमुक; एक; उदा. 'एक राजा हतो' (४) भेदरहित; समान (५) एक मतका; एकजबान (६) (संख्यावाचक शब्दके अंतर्मे) 'करीब', 'लगभग' ऐसे अर्थमें ; उदा. 'पांचेक, सोएक' (७) 'सिर्फ या मात्र' के भावमें; उदा. 'एक पिताना वचनने सारु'। [-अस्त्रे मूड = (बिना लिहाजके सबके साथ) एकसा बरताव करना; एक लाठीसे सबको हाँकना ।-आंख बवी = आँखें चार होना। आँले जोh = पक्षपात करना। -इंद्रियर्नु मान =
एक ही दिशा या हेतुका ज्ञान%B सब तरफ़का नहीं।-कानवी बीजे कान अy = कानोंकान बात फैलना; एक कानसे दूसरेमें जाना। -काने सांभळी बीजे काने काढी नालq= सुनी अनसुनी करना; सीख गाँठमें न बांधना। -कांकरे ये पक्षी मारवां = एक पंथ दो काज । -गुरुना चेला = एक थैलीके चट्टे-बट्टे । -चाए बेकका झटपट जवाब या फैसला (करना, देना)। -पग दूधमा ने एक पग बहीमा = दोनों पक्षोंमें; दो नावों पर चढ़ना । -पछी एकक्रमसे; एकके बाद एक ।-पायो ओछो होवो जरा पागल या अल्हड़ होना।-भवा बेभव करवा-धर्मभ्रष्ट या जातिच्युत होना(२)किसीके घर बैठ जाना।-मगनी (बे) फाड = एक चनेकी दाल; सहोदर ।
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