Book Title: Daulat Bhajan Saurabh Author(s): Tarachandra Jain Publisher: Jain Vidyasansthan Rajasthan View full book textPage 2
________________ आरम्भिक अध्यात्म-प्रेमी पाठकों के लिए 'दौलत भजन सौरभ' प्रस्तुत कर हम हर्ष का अनुभव कर रहे हैं। दिगम्बर जैन अतिशय क्षेत्र श्रीमहावीरजी द्वारा संचालित 'जनविद्या संस्थान' जैनधर्म-दर्शन एवं संस्कृति को बहुआयामी दृष्टि को सामान्यजन एवं विद्वानों के समक्ष प्रस्तुत करने हेतु प्रयत्नशील हैं। संस्थान द्वारा 'सर्वोदय पुस्तकमाला' के अन्तर्गत जैनधर्म एवं दर्शन से सम्बन्धित अत्यन्त सरल एवं सुरुचिपूर्ण शैली में पुस्तकें प्रकाशित की जाती हैं । प्रस्तुत 'दौलत भजन सौरभ' इस माला का उन्नीसवाँ पुष्प है। यह पुष्प आध्यात्मिक कविराज दौलतराम (सन् १७९८-१८६६) के विभिन्न भजनों, स्तुतियों, विनतियों के सौरभ से सुरभित है। पुस्तक में भजनों आदि का हिन्दी अनुवाद भी प्रस्तुत हैं। इससे जनसामान्य को इन आध्यात्मिक भजनों का मर्म समझने में सहजता होगी। भजनों के हिन्दी अनुवाद के लिए हम प्रबन्धकारिणी कमेटी के सदस्य श्री ताराचन्द्रजी जैन, एडवोकेट, जयपुर के आभारी हैं। प्रबन्धकारिणी कमेटी की भावना के अनुरूप जैनविद्या संस्थान समिति के संयोजक डॉ. कमलचन्द सोगाणी सत्साहित्य उपलब्ध कराने के लिए जो प्रयास कर रहे हैं वह श्लाघनीय है। पुस्तक प्रकाशन के लिए जैनविद्या संस्थान के कार्यकर्ता एवं जयपुर प्रिन्टर्स प्रा. लि., जयपुर धन्यवादाह हैं। प्रकाशचन्द जैन नरेशकुमार सेठी मंत्री अध्यक्ष प्रबन्धकारिणी कमेटी दिगम्बर जैन अतिशय क्षेत्र श्रीमहावीरजीPage Navigation
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