Book Title: Charlotte Krause her Life and Literature
Author(s): Shreeprakash Pandey
Publisher: Parshwanath Vidyapith

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Page 634
________________ Nāsaketari Kathā 589 10. विरह see वाराह. (ii) वीर्य : I.105, [106,] IV.14, विरांमण see ब्राम्हण. 15, 18. विरीयां s. [Hi. बिरियां f.] time : III. वीर्य see वीरज. वुरो see बुरो. विंष see विस. वेद s. ts. : I.18, 40. विषै and विषै subst. postp. [Marw. वेलू see वेलू. विषै; Gu. विषे about] visaye in, वेलू, वेलूं, and वेलु s. f. [Gu. वेळु, at, on : (i) विषै : (a) temp. : III. वाळु, वाळु, Hi. बालू] valuka : (i) 25, IV.37. (b) loc. : XIV.16, वेलू : XV.18. (ii) वेलूं : XI.6, 17, XVI.7, 13, 31. (ii) विषै ___XV.27. (iii) वेलु : XV.4. Cp. तपत-. temp. : 1.87.Cp. Gram. $ 19, 2. विस and विंष s. [Gu., Hi. विस and वेसासघाती s. m. visvāsaghatin : VIII.7, -नै IX.24. विष] visa : (i) विस: XIII:42. arell s. f. veśyā: XVII.9. (ii) विंष comp. -कुप n. of a वैठो see बैठो. _hell : VII.83 (see note ). विसटा s. [Hi. विष्टा f. dirt; Gu. Hi.. वैतरणी n. p. ts. : IX.22, 29,XV.19, विष्ठा f. excrements) visthā : -सुं 23. ७ व्रत and वरत s. vrata : (i) व्रत : XVII. IX.39, X.27, -सूं X.26. 17; comp.- भंग vratabhaiga : विसन n. p. m. Visnu : comp. -भगत ___VIII.18, IX.33, XIII.41. (ii) visnubhakta : XVI.22, 31, "तां वरत : comp. -हीण vratahina : VII.55; -लोक visnuloka : -रै -नै IX.18.Cp. पतिभरता. विषै XVI.7. वध s. m. vrddha : XIII.19. Cp. विसनोपाय and विस्वनोपाय n. p. m. वडो. Vaisampāyana : (i) विसनोपाय : व्रम see ब्रह्मा. ___I.8, 10, VII.1. (ii) विस्वनोपाय : व्रम्ह see ब्रह्मा. 1.85. व्रम्हा see ब्रह्मा. विसरांम s. viframa : VII.45, XI.18. व्रषs. m. vrksa : XI.2. Cp. रुष. विस्वनोपाय see विसनोपाय. ब्रह्म see ब्रह्मा. वीछा v.t. [Gu. बिंछाव] to spread, to ब्रह्मा, ब्रह्म, व्रम्हा, व्रम्ह, and व्रम, s. m. _lay : -ई XV.21. Brahman : (i) ब्रह्मा : -जी I.53, वीछु s. m. [Gu.] vrscika : XII.4, 72, 74,79, 82, -जीरो I.16, 59, ____XIII.41. -- III.18, -जी कनै I.60. (ii) ब्रह्म : वीरज and वीर्य s. m. [Gu. Hi.वीर्य) -जी नै I.71; comp. -वायक I.80. • virya : (i) वीरज : I.89, 90, 91. (iii) व्रम्हा : जीनै I.52. (iv) व्रम्ह : Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org

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