Book Title: Anuyoga Dwar Sutra
Author(s): Aryarakshit, Shivchandra Porwal
Publisher: Ratlam
View full book text
________________
एएमजावतकदाविपुलबागबमप्रिसवलकदाचिधमातिधमास्तिक बनातरमजावतमालानी धनीप्रसधाराकाम्प्रहेसथाहकदा त्व
कायनाधा
स
.
स
सोसिएसधम्मपएसोएवंजावसिवंधवल्सीलधामपएसोवि सियधम्मपएसोजावर नामदेसथा एत्तिअवस्वाविवशतवनणीमभण काचिप्लानोसेवककहाचिऊलज०मन्नणालेधरिपत्र
जजमाएकरप्रदेसकहरनमदेवताहतानोसेवकाप्रसनतोश्जलास धपएसोएिवत्तेमवखानविसमानणानियबीपीसोनाहिधम्मपत्तसे
प्रदेस धर्मप्रहेस जावत धरूपप्र ने देसबंध एमबोलतानले साटनयप्रतेसमनिकट नयनो (जेमण सपएसे| धम्मेजावर्खधेयएससपएसेखो। एवंदर्तसपसरसननिरुटोनीजनल सि जेधस्पिन जावतबंधपत्ररेस | प्रसधप्रदेस तेनाहोश्नघटेका श्रवेसम्पावसकर धम्मपएस सिचत्सेधम्ने जावखेधपएसे सेपएसेविंधेतननवाकाहा एलोहोसमा तषावरनतपुरुषसमान कर्मधारय समास तेनेननाणी कोणसमास जणले स्पुत्युपुरा समास साजवंतित नरसयकामधारण्यासननरकयोसमासेलनासिकिसरिसे जीत्तत्पुरुषसमासेजोले तोममेणि
अथवाकमधामएसमासयकीनले ल कामधारएजस्तपुरिसेजसित्तीयंत्राणाहिं अहकामधारनासित्तो नविसकथानणी | धमस्तिीकाय । प्रदेस तेवमप्रिमजावधतेजसत्तेवैध मलितो विस्तसतानणाहि ।। धम्मेयरसेपसे यसपएसेधम्मेजाव खंधपस्सेखेधे वाते
कर
कर

Page Navigation
1 ... 164 165 166 167 168 169 170 171 172 173 174 175 176 177 178 179 180 181 182 183 184 185 186 187 188 189 190 191 192 193 194 195 196 197 198 199 200