Book Title: Pragnapanasutram Part 01 Author(s): Ghasilal Maharaj Publisher: A B Shwetambar Sthanakwasi Jain Shastroddhar Samiti View full book textPage 3
________________ क्रमाङ्क १ . मंगलाचरण ३ ४ ७ ८ १० ११ १२ १३ १४ १५ १६ १७ १८ १९ २० प्रज्ञापनासूत्र की विषयानुक्रमणिका. विषय 1 प्रज्ञापना का स्वरूप मंगलाचरण का प्रयोजन दिखलाना श्री महावीर स्वामी को वंदन का कारण दिखलाना प्रज्ञापना के अध्ययन व भेद का निरूपण अजीव प्रज्ञापना का निरूपण अरूप अजीव व रूप अजीव प्रज्ञापना का निरूपण जीव और वर्ण का परस्पर संवेध का निरूपण रूपी अजीव प्रज्ञापना के स्वरूप का निरूपण जीव प्रज्ञापना स्वरूप निरूपण पृथ्वीकाय अ० उ० वायु० वनस्पतिकाय के भेद का स्वरूप निरूपण सभेद वनस्पतिकाय का निरूपण साधारण शरीर वादर वनस्पतिकाय का निरूपण ' भङ्ग के निर्देश पूर्वक अनंत जीवों का निरूपण वीज की अवस्था का व साधारण जीव के लक्षण का निरूपण वेन्द्र से पंचेन्द्री पर्यंत के जीवों का निरूपण भेद सहित नारको जलचर स्थलचर - परिसर्प खेचर पंचेन्द्रिय का निरूपण भेद सहित मनुष्य का स्वरूप व कर्मभूमि के मनुष्यों का वर्णन देश भेद से आर्यादि का वर्णन व भेद सहित दर्शनार्य का निरूपण भेद सहित वीतराग दर्शन० व चारित्र के स्वरूप का निरूपण पृष्ठाङ्क १-४ ४-८ ९-१८ १८-२४ २४-३० ३०-३२ ३३-५४ ५४ -१०६ १०७-१६५ १६५-२१६ २१७-२४५ २४५-२९२ २९२-३१३ ३१४-३२४ ३२४-३४५ ३४६-३६१ ३६२-४१८ ४१९-४४५ ४४५-४८३ ४८३-५३१Page Navigation
1 2 3 4 5 6 7 8 9 10 11 12 13 14 15 16 17 18 19 20 21 22 23 24 25 26 27 28 29 30 31 32 ... 975