Book Title: Jainology Parichaya 01
Author(s): Nalini Joshi
Publisher: Sanmati Tirth Prakashan Pune

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Page 12
________________ ६. जैन तीर्थंकर (जैनत्व की झाँकी - पाठ ९) १) तीर्थंकर' किन्हें कहते हैं ? (शिक्षक तीन-चार वाक्य लिखकर दें ।) २) तीर्थ' शब्द का जैन परिभाषा के अनुसार मुख्य अर्थ कौनसा है ? (एक वाक्य) ३) चतुर्विध धर्मसंघ में किनका समावेश किया जाता है ? (एक वाक्य) ४) तीर्थंकरों के समवसरण में कौनसा आश्चर्य दिखायी देता है ? (एक वाक्य) ५) सामान्य मानव में कौनसे अठारह दोष होते हैं ? प्रत्येक दोष का नाम तथा उसका अर्थ लिखिए । ६) तीर्थंकर कौन-कौनसे दोषों से रहित होते हैं ? (अठारह दोषों के नाम) ७) तीर्थंकर क्या मनुष्य हैं या ईश्वर के अवतार हैं ? (एक वाक्य) ८) तीर्थंकर बार बार जन्म क्यों नहीं लेते ? (तीन-चार वाक्य शिक्षक लिखकर दें ।) ९) तीर्थंकर और अन्य मुक्त जीवों में कौनसा भेद है ? (चार-पाँच वाक्यों में शिक्षक लिखकर दे ।) १०) तीर्थंकरों में कौनसी यौगिक शक्तियाँ एवं सिद्धियाँ होती हैं ? (शिक्षक वर्णन करें । लेखी परीक्षा में नहीं पूछा जाएगा ।)

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