Book Title: Ghar ko Kaise Swarg Banaye
Author(s): Chandraprabhsagar
Publisher: Jityasha Foundation

Previous | Next

Page 136
________________ छत पर खड़ा था, सामने की छत पर एक कुत्ता था। मैंने सोचा कि बीच में गली है सो कुत्ता मेरे पास तो आ नहीं सकता। इधर से मैं, उधर से कत्ता मझे घूरने लगा। हम दोनों बहुत देर तक एक-दूसरे को घूरते रहे। बीच-बीच में वह भौंक भी लेता था, पर कुछ कर न सका। तब मुझे लगा कि जब तक हम डरते रहेंगे, कुत्ते पीछे पड़े रहेंगे। जब निर्भय हो जाएँगे, तो कुत्तों को साइड कर देंगे। जहाँ हिम्मत है, वहाँ चमत्कार है, जहाँ हिम्मत है वहीं जीवन में विकास की क्रांति है। हिम्मत न हारिये, प्रभु ना बिसारिये, हंसते-मस्कराते हए जिंदगी गुजारिये। एक पल के लिए भी मन में दुर्बलता का, पराजय का, अकर्मण्यता का, असफलता का भाव या विचार न आने दीजिए। यदि आप हीन-भावों को मन में जगह देंगे तो ये भी आशा को बाहर धकेल देंगे। दृढ़ निश्चय कीजिये, संकल्प करिये कि आप अपने मन में हीनता की भावना कभी नहीं आने देंगे। आप संकल्प कीजिए कि आप जो करेंगे, वह श्रेष्ठतम होगा। निरन्तर यह विश्वास रखिये कि आपका परिश्रम सफल होकर रहेगा, इच्छा पूरी होकर रहेगी, आशाओं के फूल खिलकर रहेंगे, आकांक्षाओं के फल मिलकर रहेंगे। प्रयत्न करते जाइये, पूर्ण शक्ति, योग्यता, कुशलता और सामर्थ्य से अपने उद्देश्य के प्रति निष्ठावान होकर कार्य करते रहिए, सफलता निश्चय ही आपकी होगी। ___आप अपना आत्मविश्वास जुटाएँ, जीवन में सफलता पाएँ। आशंकाओं के बारे में किसी प्रकार मत सोचिए, उन्हें भुलाने या भगाने की अपेक्षा मन को दूसरी ओर लगा दें। अच्छी प्रेरणास्पद पुस्तकें पढ़ें। घबराइये नहीं, आपसे भी पहले उन लोगों के जीवन में कठिनाइयाँ आई थीं जो आज सफलता के उच्च शिखरों पर खड़े हैं। साहस के साथ आगे बढ़ते रहिए, निर्भीकतापूर्वक, निश्चित होकर। आत्मविश्वास में बड़ा चमत्कार है। यही मनुष्य की वास्तविक शक्ति का भंडार है। याद रखिए, जीवन में सुख, शांति और सफलता के मंगल गीत तभी गाए जा सकते हैं जब आपका अपने आप पर विश्वास हो। ख़ुद पर होने वाला 135 Jain Education International For Personal & Private Use Only www.jainelibrary.org

Loading...

Page Navigation
1 ... 134 135 136 137 138 139 140 141 142 143 144 145 146