Book Title: Agam 29 Mool 02 Dasvaikalik Sutra Dasaveyaliyam Terapanth
Author(s): Tulsi Acharya, Nathmalmuni
Publisher: Jain Vishva Bharati
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५४४
दसवेआलियं ( दशवकालिक )
पृष्ठ
टिप्पणी संख्या
संख्या
टिप्पणी संख्या १५२
४६५ १७४
४८६
२६
१५८
३१
१६६
१४
२७७ १२१
४१ १२३
१४३
१८३
२८६ ३५५
२३६
१५४
१६४
२३४ १५८
२७ १५० १२४
४७०
१२८
१५६
आधारभूत शब्दादि परिसहाई (१०।१४) परीसहे (४१२७) परे (१०८) पलियंकए (३.५) पवयणस्स (५।२।१२) पवेइया (४.सू०१) पसज्झ चेयसा (चू०१।१४) पसढं (५।१९७२) पस्सह (५।२।४३) पाइमे (७।२२) पाणगं (५।११४७) पाणभूयाई (४:१) पाणहा (३।४) पाणाइवायाओ वेरमणं (४सू०११) पाणे (५।११३) पामिच्चं (५।१।५५) पाय (८।१७) प यखज्जाइं (७:३२) पावगं (४।११) पावगं (६।३२) पावार (५।१।१८) पासाय (७।२७) पिट्ठ (५।१।३४) पिट्ठिमंसं न खाएज्जा (८।४६) पियाल (५।२।२४) पिहुखज्ज (७।३४) पिहुणहत्थेण (४.सू०२१) पिहुणेण (४सू०२१) पीढए (६१५४) पीढगंसि वा फलगंसि वा (४सू०२३) पीणिए (७।२३) पुछे...संलिहे (८७) पुग्गलं अणिमिसं (५।१।७३) पुढवि (४.सू०१८) पुढवि न खणे (१०१२) पुढविकाइया...तसकाइया (४।सू०३) पुढवि समे (१०।१३) पुणो (६।५०)
१३६ २०० २३७ ३८६ ३५६ १६७
३५१
आधारभूत शब्दादि
संख्या पुण्णट्ठा पगडं (५।१।४६)
२३५ पुप्फ (१२) पुप्फेसु...बीएसु हरिएसु वा (५।१५७) २३८ पुरओ (५॥१॥३) पुरत्या (८।२८) पुरिसोत्तमो (२०११)
३५ पुरेकम्मेण (५।१।३२) पूइ पिन्नागं (५।२।२२) पूईकम्म (५।१।५५) पेम नाभिनिवेसए (८।५८) ४१८ पेहियं (८।५७) पेहेइ (६।४।०४) पोयपडागा (चू०१॥सू०१)
५१० पोयया (४।०६) पोयस्स (८।५३) फरुसा (७.११) फलमंथूणि बीयम)णि (५।२।२४) २८३ फलिहं (५।२।६) फलिहग्गल (७१२७)
३५७ फणियं (६।१६) फासं (८।२६) फासुयं (५।१।१६) फासे (१०१५) बंधइ पावयं कम्मं (४१) बंभचेरवसारणुए (५।१६) बहुनिवट्टिमा (७।३३) बहुस्सुओ (१६) बहुस्सुयं (चू०८।४३) बाहिर (८।३०) बाहिरं . पोग्गलं (८1) विडं (६।१७) बिहेलगं (५।२।२४) बीए (३७) बीयं (३१) बीयहरियाई (५।११३) बुद्धवयणे (१०।१) बुद्धवृत्तमहिट्ठगा (६।५४) बोही (चू०१।१४)
२७६
१४६
३१६
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२१६
३५६
४२
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२२६
१२७
४१० ३८४
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११८
१५५ १५४ ३२५ १५७ ३५६ ३८६ २४४ १४८ ४८५
१८
१८५
१२३
४६४ ३२३
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