Book Title: Agam 01 Ang 01 Acharanga Sutra Mool Sthanakvasi
Author(s): Sudharmaswami, Devardhigani Kshamashaman
Publisher: Global Jain Agam Mission
View full book text ________________
आचारांग सूत्र - पढमो सुयखंधो
अदुवा सव्वजोणिया सत्ता, कम्मुणा कप्पिया पुढो बाला ॥
१५ भगवं च एवमण्णेसिं, सोवहिए हु लुप्पइ बाले ।
कम्मं च सव्वसो णच्चा, तं पडियाइक्खे पावगं भगवं ॥ १६ दुविहं समिच्च मेहावी, किरियमक्खायमणेलिसं णाणी । आयाणसोयमइवायसोयं, जोगं च सव्वसो णच्चा ॥ १७ अइवत्तियं अणाउटिं, सयमण्णेसिं अकरणयाए । जस्सित्थीओ परिण्णाया, सव्वकम्मावहाओ सेऽदक्खू ॥
१९
२०
२१
२३
अहाकडं ण से सेवे, सव्वसो कम्मुणा य अक्खू I जं किंचि पावगं भगवं, तं अकुव्वं वियडं भुंजित्था ॥
णो सेवइ य परवत्थं, परपाए वि से ण भुंजित्था । परिवज्जियाण ओमाणं, गच्छइ संखडिं असरणाए ||
३
मायण्णे असणपाणस्स, णाणुगिद्धे रसेसु अपडिण्णे । अच्छिंपि णो पमज्जिज्जा, णो वि य कंड्रयए मुणी गायं ॥
२२ सिसिरंसि अद्धपडिवण्णे, तं वोसज्ज वत्थमणगारे | पसारित्तु बाहुं परक्कमे, णो अवलंबियाण खंधंसि ॥
अप्पं तिरियं पेहाए, अप्पं पिट्ठओ उ पेहाए ।
अप्पं बुइए अपडिभाणी, पंथपेही चरे जयमाणे ॥
एस विही अणुक्कंतो, माहणेण मईमया । अपडिण्णेण वीरेण, कासवेण महेसिणा ॥ त्ति बेमि ॥ (बहुसो अपडिण्णेण, भगवया एवं रीयंति ॥ त्ति बेमि II) ॥ पढमो उद्देसो समत्तो ॥
बीओ उद्देसो
१ चरियासणाई सेज्जाओ, एगइयाओ जाओ बुइयाओ । आइक्ख ताई सयणासणाई, जाई सेवित्था से महावीरे ॥
आवेसण-सभा-पवासु, पणियसालासु एगया वासो । अदुवा पलियट्ठाणेसु, पलालपुंजेसु एगया वासो ॥
आगंतारे आरामागारे, गामे नगरे वि एगया वासो ।
34
Loading... Page Navigation 1 ... 38 39 40 41 42 43 44 45 46 47 48 49 50 51 52 53 54 55 56 57 58 59 60 61 62 63 64 65 66 67 68 69 70 71 72 73 74 75 76 77 78 79 80 81 82 83 84 85 86 87 88 89 90 91 92 93 94 95 96 97 98 99 100 101 102 103 104 105 106 107 108 109 110 111 112 113 114 115 116