Book Title: Acharangadyekadashangya Sutradgathadyakaradi
Author(s): Sagaranandsuri, Anandsagarsuri
Publisher: Tribhovandas Pitambardas Sushravak
View full book text ________________
८आ. ९सू. १०स्था.
१२ म. १३ ज्ञा. ॥१०९॥
AAAA-CA
सूत्राद्यादि. सूत्रे. सूत्रायः सूत्राद्यादि. सूत्रे. सूत्राद्यक सूत्राद्यादि. सूत्रे. सूत्राद्यक १४ उपा. मंतेत्ति से नणं सेट्ठियस्स४ भावे पओगवीस ९ १४नि भीतं दुतं रहस्सं १० ६७* १५ अंत
समं चेव अपच्चखाणकि०१२ ७८ भावे फलसाहणया ८ २४०नि. भुयगा भुयगवती चेव १३ ५६* अनु. भारण्णं वहमाणस्स चत्तारि भावे जीवस्स सीरियस्स ९ ९४नि. भूएहिं न विरुज्झेज्जा ९ ६१०*
१६ प्रश्न १० ३१४ भासमाणो न भासेज्जा ९४६१* भृताभिसकाइ दुग्छमाणे ९ ५९९*
ल १७ विपा. आसासा भारस्स जाता मुणि मुंजएज्जा९ ४०९* भिक्खं पविट्ठण मएऽज्ज दिढ८ २२८नि. भूयाई च समारंभ ९ ५१०* | भावइरिया उ दुविहा ८ ३१०नि. भिक्खागा नामेगे एवमाहंसु ८ २४७ । भूयाभिसंकाए दुगुंछमा० ९ ७०९* भावणाजोगसुद्धप्पा ९ ६११* | भिक्खागा नामेगे एव०समाणे०८ २८३ | मेहयचियाउवचिया
१२ भावतरं पुण नियमा ९ १२३नि. भिक्खागा नामेगे एव०समाणे ०८ २८४ | भेउरेसु न रज्जिज्जा भावपरिण्णा दुविहा ८३५४नि. भिक्खु च खलु पुट्टा वा ८ २०१ | भोगकरा भोगवती भावसमाहि चउव्विह ९ १०६नि. भिक्ख मुयच्चे तह दिट्ठधम्मे९ ५७३४ | भोगे अवयक्खंता १३ भावसमोसरणं पुण ९ ११७नि. भिक्खू य अन्नयरं अकिच्च- ..
अथ मकार भावे उ णिरयजीवा ९ ६३नि. द्वाणं पडिसेवित्ता १२ ३९९ महउग्गहो य गहणुग्गहो य ८ ३२१नि. ॥१०९॥ मावे गइमाहारो ८ ३०नि. भीए य पलायंते ९ ८२नि. मच्छा य कुम्मा य सिरीसि०९ ३९५*
GORAMACANCE
Loading... Page Navigation 1 ... 111 112 113 114 115 116 117 118 119 120 121 122 123 124 125 126 127 128 129 130 131 132 133 134 135 136 137 138 139 140 141 142 143 144 145 146