Book Title: Tattvarthadhigam Sutra Abhinav Tika Adhyaya 10
Author(s): Dipratnasagar, Deepratnasagar
Publisher: Shrutnidhi Ahmedabad
View full book text
________________
તત્ત્વાર્થાધિગમ સૂત્ર અભિનવટીકા
शब्द अ. सू.
૫૦
शब्द मिथ्यादर्शन मिथ्यादर्शन मिथ्योपदेश मिश्र-(क्षायोपशमिक) मिश्र - (योनि) मुक्त
FFFFFFF
मुहूर्त
योग
मुहूर्त मूर्छा मेरु(पर्वत) मेरु(पर्वत) मैत्री मैथुन
योगदुष्प्रणिधान योगवक्रता योगविशेषात् योजन योनि
मोक्ष
मोक्ष
मोक्ष
๒ * * * * * * * * ruar rrua 9 mx o 9 or or ora ar avvagnxovaror or no * * * * * * * * * * * * *
* * * * *
रति रति रत्नप्रभा रम्यक् क्षेत्र) रस
मोक्षहेतु मोह मोहक्षपक मोहनीय मोहनीय मोहोपशमक मौखर्य म्लिश
1555 w w w or a 9 w umor vum morsura ax mox 9 or s sro
रस
रसपरित्याग रहस्याभ्याख्यान राक्षस रुक्मि (पर्वत)
४ १२ ९ १८
८ १२
रूपानुपात
यक्ष यथाख्यात यशस् याचना(परीषह) याचना(परीषह) . युगपत् युगपत् युगपत्
रूपिन्
रूपिन् रापिन् रोग(परीषह)
रौद्र(ध्यान)
Jain Education International
For Private & Personal Use Only
www.jainelibrary.org