Book Title: Prakrit Rupmala
Author(s): Kasturvijay
Publisher: Vadilal Bapulal Shah

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Page 321
________________ (४८) प्राकृत ॥ संस्कृतप्राकृतधातुमाला ॥ संस्कृत प्राकृत vvvvvvvvvvvvvvvvv vvvvvvvvvvvvvvvvvvvvvvvvvvvvvvvv संस्कृत घूर्ण छिद् छिन्द छिप्प मन्थ् स्पृह घुसल घोट्ट घोल छिव छिह घेप घेत् चकम्म चचुप्प चच्छ चड . आक-रुह जागृ युज चड्ढ चमढ __ आङ्- क्रम् . छुप्प छुह क्षिप छेच्छ जअड स्वर जग्ग जच्छ यम् . जप्प जम्प . कथ जम्मा , अव- जम्म जम्म . जन जव यापि जन् जाण , जिण जि जिम चय शक चल्ल 444 4 4 2 3 44 - 3 4 बE 4 5 बाय 44 4 4 4Fa चल ज्ञा मण्ड् चिम्म चिच चिञ्चिल चिश्च चिट्ठ . चिण चिम्म चिव जिम्म लज्ज् चिष्ठ स्था जिव्ध जीर जीह जुज्ज जुझ जुञ्ज जुप्प जूर युज युध् युज स्पन्दू चुक्क चुलचुल चोप्पड छज्ज ब्रक्ष खिद् राजू मुच् बञ्च

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