Book Title: Laghu Siddhant Kaumudi Part 01
Author(s): Vishvanath Shastri, Nigamanand Shastri, Lakshminarayan Shastri
Publisher: Motilal Banrassidas Pvt Ltd

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Page 426
________________ परिशिष्टम् Y.. भाषार्थः प्रयोगाः स. ११६६ कुतः-कहाँ से । सू० ११६७ इत:-यहाँ से। सू० ११६८ अतः-इससे। अमुतः-उससे । यतः-जिससे, वहाँ से। ततः-उससे, वहाँ से। बहुत: बहुतों से। स० ११६६ परितः चारों ओर से। अमितः-दोनों ओर से। सू. १२०० कुत्र-कहाँ। यत्र-जहाँ। तत्र-तहाँ। बहुत्र-बहुत जगह। __ सू० १२०१ इह-यहाँ। अथ प्राग्दिशीयाः भाषार्थः प्रयोगाः ततो भवन्तम्-पूज्य के प्रति । तत्रभवन्तम्-, दोर्घायुः-दीर्घायु । देवानाम्प्रियः-मूर्ख। आयुष्मान्-चिरञ्जीवी। सू. १२०६ सदा-नित्य । सर्वदा-सदा। अन्यदा-और समय। कदा कब । यदा-जब। तदा-तब। स १२०८ एतर्हि-अब । स१२०६ कर्हि-कब । यहि-जब । तर्हि-तब । सू० १२११ तथा--उस प्रकार, वैसे। यथा-जिस प्रकार, जैसे। ___ सू० १२१२ इत्थम्-इस प्रकार । सू० १२१३ | कयम्-किस प्रकार। सू० १२०३ स्व-कहाँ। स. १२.४ ततो भवान्-पूज्य। स भवान्-,। तत्र भवान् ।

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