Book Title: Jain Dharm me Tap Swarup aur Vishleshan
Author(s): Mishrimalmuni, Shreechand Surana
Publisher: Marudharkesari Sahitya Prakashan Samiti Jodhpur

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Page 643
________________ श्रीमान् मिश्रीमलजी प्रेमराजजी लुंकड़ • आप वगड़ीनगर के निवासी हैं | आपका कारोवार मद्रास प्रांत में तीरवेलूर में है । आप तपस्वी और धर्म की अच्छी लगन वाले सरल एवं सेवाभावी हैं । गुरुदेव के परम भक्तों में हैं । 5 श्रीमती गजरावाई धर्मपत्नी स्व० सेठ लालचंदजी कातरेला बगड़ी ( मारवाड ) निवासी, हाल मुकाम मद्रास | आप बड़ो भद्रीक उदारचेता, धर्म परायणा है । आपके मातृभक्त दो सुपुत्र हैं— श्री माणकचंदजी तथा शीतललालजी कातरेला । दोनों युवक श्रद्धाशील सेवाभावी है । 4

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