Book Title: Anekant va Syadvada
Author(s): Chandulal C Shah
Publisher: Jain Marg Aradhak Samiti Belgaon

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Page 15
________________ इस ग्रन्थ में प्राये हुए विषय-विषयक ग्रंथ-सूची नवतत्त्व १ नवतत्त्व सुमगला टीका २ कर्मग्रन्थ भाग १ ३ स्थानाग सून ६ स्थाने ४ तत्त्वार्थसूत्र हारिभद्रीय हिन्दी प० सुस० ६ गुजο,, प्रभु० ७ उत्तराध्ययन सूत्र अ० २४,२८ अनेकांतवाद " 17 १ अनेकातजयपताका ( बडोदा ) २ स्याद्वादमजरी श्लो० ५, २४ ३ शास्त्रवार्ता समुच्चय (ग्रा० लाव०) ४ सूत्रकृतागसूत्र २ श्रु० ५ ० ५ कातवादप्रवेश ६ द्रव्यगुणपर्यायस ७ श्रनेकातवादमर्यादा (१० सुख० ) = तत्त्वार्थं त्रिसूत्री षड् द्रव्य १ 'उत्तराध्ययनसूत्र (शात्या ० ) २८ प्र० २ द्रव्यानुयोगतर्करणा १० अध्या० ३ द्रव्यलोकप्रकाश ४ प्रज्ञापनासूत्र १,३ पदे ५ स्थानागसूत्र ४ स्था० ३ उ० ६ अनुयोगद्वारसून ७ भगवतीसूत्र २ श० १० उ० १३ श० ४ उ० 17 पंचकाररणवाद १ सन्मतितर्क गा० १४६ निक्षेप १ विशेषावश्यकभाष्य गा० ६१२ २ आवश्यक सूत्र मलयगिराय ३ श्रनुयोगद्वारसूत्र सटीक ४ प्रतिमाशतक श्लो० २ नय १ नयोपदेश २ रत्नाकरावतारिका ७ परि० ३ विशेपा० भाष्य गा० ७२,६१४ २१८०, २२६४, २२७३, ३३६६, ३५८६ । ४ सम्मतितर्क १ का० गा० ३५ ३ काड ५ आवश्यकसूत्र मलय० १०१, २ख. ६ अनुयोग द्वार सटीक ७ द्रव्यानुयोगतर्करणा ५, ८, अध्याय ८ ग्र० व्य ०द्वा० स्याद्वादमजरीश्लो० ३० ६ द्वादशारनयचक्र (ग्रा० लब्धि ० ) सप्तभगी (स्याद्वाद ) १ रत्नाकरावतारिका ८ परि० २ स्याद्वादविन्दु ३ शास्त्रवार्तासमुच्चय ४ स्याद्वादमजरी

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