Book Title: Uvavai Sutra
Author(s): Sudharmaswami, Kesharvijay
Publisher: ZZZ Unknown
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सीम
बरुण
जावायलिगा सर्वस्यिहऽव्यादिकनवग्रद जालगाजावांती सर्वकाध एवंमान इमलीला मवेदरूप देयपातिविवाद तपचवावा
रममाया चिएकामा डावीबाए सबंघारिपहपचरकामा आचीबाए सबाकाह HD मायालातोपादासंकल एनस्टालनबंदेश पारकाचामा पारकवृत्रायवादवो मंयमन संयमन माटाकरानश्या ववदशनिदेषिव स्वाप नवक्तिमर्वबोनयवाख
करिव लिविवधतिशया बोलियूचा शल्यबरामऊधारुिप उर्वसरकार यसमं परिघरिवायंवरतिरक्षि मायामासं मिहादसंगासनं पावरकाममाज जानालग यबसविसनासार याणा सूधमाधमुरण तंबोलपमुरवा च्यारेवतियादारपंचरवावजावनगाणए | वडाबाए सबं असणं या दादि साक्ष्मि नाविहंधियारं यजस्कामी जावीवार 0 मरास्वंद वलनकमनायमनश्व सुंदर मनश्करावारंवारस्मसपा विश्वानववाम गंमतकार्यक घणामतनई दिगुणजाणावर अल्पबऊमूल्य
IR Rकाधवराव रनकर मनापरई
रिवाधका बाबज्ञान घमं सरारंभटकंत चित्रं माझ मशा माघझवसासिं सम्मयं बजायं शुणामय गंडकरंड बनना साततातिरखेलागव बस्तनामपेनांग यान्त्यरवेलागा। यामुमन मनीलागवं। व्यालसर्पमालागव-चोरमती विलगवा मुझनश्टांसमतालाश । कसमा मासा मात्रएं माणसुहा माविकासामागंधाला मागंचार मादसा
जा

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